पीएम मोदी से मिलना है तो पहले मंत्रियों को कराना होगा RT-PCR टेस्ट, बढ़ते कोरोना के मामलों के चलते लिया फैसला

कोविड-19 के मरीजों की बढ़ती संख्या के बीच सरकार भी अलर्ट मोड पर है। ऐसे में अब पीएम नरेंद्र मोदी से मुलाकात करने वाले मंत्रियों को आरटी पीसीआर टेस्ट कराना जरूरी होगा।

पीएम मोदी

पीएम मोदी Photograph: (IANS)

नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने से पहले अब मंत्रियों को अपना आरटी-पीसीआर टेस्ट कराना होगा। टेस्ट कराने के बाद ही मंत्री प्रधानमंत्री से मुलाकात कर पाएंगे। सूत्रों के मुताबिक कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए यह फैसला लिया गया है। दरअसल, कोविड-19 के मरीजों की बढ़ती संख्या के बीच सरकार भी अलर्ट मोड पर है। ऐसे में अब पीएम नरेंद्र मोदी से मुलाकात करने वाले मंत्रियों को आरटी पीसीआर टेस्ट कराना जरूरी होगा। हालांकि, इसे लेकर सरकार की ओर से आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा गया है। यह फैसला ऐसे समय पर लिया जा रहा है, जब कई राज्यों में कोविड-19 के एक्टिव केस तेजी से बढ़ रहे हैं।

इंडिया टुडे की रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि पीएम मोदी से मिलने वाले मंत्रियों को RT-PCR टेस्ट कराना होगा। आंकड़े बता रहे हैं कि देश में एक्टिव केस की संख्या 7 हजार के पार हो चुकी है।

देशभर में कोरोना को लेकर की जा रहीं तैयारियां

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक देश के अंदर पिछले 24 घंटों में कोविड-19 के 306 नए मामले सामने आए हैं। इसके अलावा कोरोना से संक्रमित 6 लोगों की मौत भी हुई है। बता दें कि पिछले कुछ दिनों से देश में कोरोना के मामले तेजी से फैल रहे हैं। इस बीच कोरोना से निपटने के लिए सरकारी अस्पतालों में युद्ध स्तर पर तैयारियां शुरू हो गई हैं। आइसोलेशन वॉर्ड तैयार किए जा रहे हैं और दवाओं की उपलब्धता को सुनिश्चित किया जा रहा है।

कोविड का एक नया वैरिएंट एनबी 1.8.1

बता दें कि कोविड का एक नया वैरिएंट एनबी 1.8.1 दुनिया के कई हिस्सों में तेजी से फैल रहा है, जिससे नई चिंताएं बढ़ रही हैं। यह वैरिएंट ओमिक्रॉन फैमिली का हिस्सा है, जो जनवरी 2025 में पहली बार पाया गया था। यह भारत के साथ ही अमेरिका, ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया, चीन, मालदीव और मिस्र जैसे देशों में फैल चुका है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इसे 'निगरानी में रखा गया वेरिएंट' घोषित किया है, यानी यह इतनी तेजी से फैल रहा है कि इस पर ध्यान देना जरूरी है। लेकिन, अभी इसे बड़ा खतरा नहीं माना गया है।

 

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