Homeविचार-विमर्शखेती बाड़ी-कलम स्याही: बिहार चुनाव और कलाकार!

खेती बाड़ी-कलम स्याही: बिहार चुनाव और कलाकार!

जिस तरह से कलाकार वर्ग की दिलचस्पी राजनीति में दिख रही है, वह बताता है कि बिहार चुनाव इस बार काफी अलग होने वाला है। जनसुराज ने भोजपुरी गायक रितेश पांडे को टिकट दिया है। दूसरी पार्टियां भी दूसरे कलाकारों को टिकट देने पर विचार कर रही हैं।

बिहार विधानसभा चुनाव जैसे-जैसे नजदीक आ रहे हैं, वैसे-वैसे राजनीति में नए चेहरों की एंट्री और बड़े-बड़े सरप्राइज की चर्चा बढ़ती जा रही है।

तमाम पार्टियों ने अपने उम्मीदवारों का ऐलान करना शुरू कर दिया है, वहीं सीट बंटवारे के समीकरण भी बनाए जा रहे हैं। इसी बीच बिहार में कई सुपरस्टार भी चुनावी मैदान में नजर आ सकते हैं।

पवन सिंह पहले ही भाजपा में शामिल हो चुके हैं, वहीं अब मैथिली ठाकुर ने भी चुनाव लड़ने की इच्छा जताई है।

हाल ही पवन सिंह भाजपा में शामिल हुए थे। पिछले दिनों वह दिल्ली में गृह मंत्री अमित शाह से मिले थे और उपेंद्र कुशवाहा से भी उन्होंने मुलाकात की थी। माना जा रहा है कि वह बिहार चुनाव भी लड़ सकते हैं। बिहार चुनाव में भाजपा पवन सिंह को कैंडिडेट बना सकती है।

पवन सिंह के बाद बिहार के राजनीतिक गलियारे में गायिका मैथिली ठाकुर सबसे अधिक सुर्खियां बटौर रही है। लोकगायिका मैथिली ठाकुर के बिहार चुनाव में भाजपा के टिकट पर चुनाव मैदान में उतरने की खूब चर्चा है। बिहार की सियासी लड़ाई में केवल मैथिली ठाकुर और पवन सिंह ही नहीं, और भी कई सितारे चुनाव मैदान में उतरने की तैयारी में हैं।

विधानसभा चुनाव का बिगुल फूंका जा चुका है। चुनावी तारीख का ऐलान होते ही सियासी दल, खासकर बिहार में सत्ताधारी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की सबसे बड़ी घटक भारतीय जनता पार्टी अपना किला दुरुस्त करने में जुटी है। हाल ही में भोजपुरी फिल्मों के पावर स्टार पवन सिंह की बीजेपी में वापसी हुई थी। अब लोकगायिका मैथिली ठाकुर के भी कमल निशान पर चुनाव मैदान में उतरने की चर्चा है। सोशल मीडिया पर तो मैथिली ठाकुर सबसे अधिक चर्चा में है। कई लोग तो उनकी और उनके पिता की कुंडली निकाल कर बैठे हुए हैं।

मैथिली ठाकुर की भाजपा के बिहार प्रभारी विनोद तावड़े और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय के साथ मुलाकात भी हो चुकी है। समाचार चैनलों से बातचीत करते हुए मैथिली ठाकुर ने कहा था कि बीजेपी नेताओं के साथ आधे घंटे तक बात हुई। बातचीत सकारात्मक रही है. उन्होंने यह भी कहा कि हम एनडीए के समर्थन में हैं और हमेशा से बीजेपी मेरी प्राथमिकता रही है। मैथिली ने कहा कि दिल्ली में काम के लिए रहती हूं। मेरी आत्मा बिहार से जुड़ी है। बिहार रहकर लोगों की सेवा करना चाहती हूं, विकास में योगदान देना चाहती हूं।

पहले पवन सिंह और अब मैथिली ठाकुर, बिहार में बीजेपी की स्टार पॉलिटिक्स चर्चा में आ गई है। बिहार की चुनावी जंग में भाजपा का फोकस इस बार लोकल सितारों पर है, जिनका प्रभाव बड़े क्षेत्र में हो। यदि आप इसे डिजिटल स्पेस की नजर से देखें तो यह सबकुछ इनफ्लुएंसर पर आधारित नजर आएगा।

मैथिली ठाकुर मिथिलांचल से आती हैं, लेकिन पूरे बिहार में लोकप्रिय हैं। वह ब्राह्मण हैं, लेकिन जातीय समीकरणों से परे महिला मतदाताओं को साधने में भाजपा और एनडीए के लिए सहायक सिद्ध हो सकती हैं।

भोजपुरी गायक और गीतकार विनय बिहारी पहले से ही भाजपा में हैं। वह तीन बार के विधायक हैं। भोजपुरी गायक और अभिनेता रितेश पांडे चुनाव रणनीतिकार से राजनेता बने प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज में शामिल हो चुके हैं।

जनसुराज ने अपनी पहली उम्मीदवार सूची जारी कर दी है, जिसमें रितेश पांडे को भी टिकट दिया गया है। रितेश को रोहतास जिले की करगहर विधानसभा सीट से चुनाव मैदान में उतारा गया है। खास बात यह है कि इसी सीट से खुद प्रशांत किशोर के चुनाव लड़ने की चर्चा चल रही थी। ऐसे में रितेश की एंट्री ने बिहार की सियासत में नई हलचल पैदा कर दी है।

रितेश पांडे भोजपुरी इंडस्ट्री का बड़ा नाम हैं। 34 वर्षीय रितेश ने एक दशक में कई हिट गाने दिए हैं और सोशल मीडिया पर उनकी जबरदस्त फैन फॉलोइंग है। सासाराम में जन्मे रितेश पांडे अब राजनीति में कदम रखकर बिहार की सियासत में नई धुन छेड़ने की तैयारी में हैं।

गौरतलब है कि रितेश ने लोकसभा चुनाव के कुछ ही महीने बाद भभुआ में अपना कार्यालय खोला था और खुद को गायक नहीं, बेटा बताते हुए चुनाव लड़ने का ऐलान किया था। रितेश ने शिक्षा व्यवस्था बेहतर बनाने को अपना लक्ष्य बताया था।

उधर, भोजपुरी के चर्चित गायक राधेश्याम रसिया भी बिहार चुनाव की तैयारी में हैं। 1990 के दशक के सुपरस्टार गायक राधेश्याम रसिया पिछले साल हुए लोकसभा चुनाव में भी पश्चिमी चंपारण सीट से मैदान में उतरने की तैयारी में थे। हालांकि, उन्होंने चुनाव नहीं लड़ा था। वह यह ऐलान कर चुके हैं कि विधानसभा चुनाव हर हाल में लड़ेंगे। राधेश्याम रसिया किस पार्टी से, किस सीट से चुनाव लड़ेंगे, इसे लेकर अभी तस्वीर साफ नहीं है।

बिहार चुनाव में किस्मत आजमाने की तैयारी कर रहे भोजपुरी गायकी की दुनिया के सितारों की लिस्ट में खेसारी लाल यादव का भी नाम है।

खबर है कि भोजपुरी स्टार खेसारीलाल यादव की पत्नी चंदा देवी को राजद से टिकट मिल सकता है। हालांकि आधिकारिक ऐलान बाकी है, लेकिन उनके मैदान में उतरने की चर्चा ने चुनावी समीकरणों में नई गर्मी ला दी है।

खेसारी लाल यादव की ओर से सियासत में आने या चुनाव लड़ने को लेकर कोई बयान नहीं आया है। खेसारी यादव ने पिछले साल सपा प्रमुख अखिलेश यादव से मुलाकात की थी। इस मुलाकात के बाद अखिलेश ने कहा था कि खेसारी 2027 के यूपी चुनाव में सपा की मदद करेंगे। अखिलेश के बयान को इस बात का संकेत माना गया कि खेसारी उनकी मदद से बिहार चुनाव में आरजेडी के टिकट पर मैदान में उतर सकते हैं।

इन सबके बीच लोकप्रिय अभिनेत्री अक्षरा सिंह का भी नाम सामने आने लगा है। भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री में अक्षरा सिंह का नाम सबसे ऊपर आता है। अभिनेत्री और गायिका अक्षरा सिंह के चुनाव लड़ने की अटकलें भी तेज हो गई हैं। दरअसल हाल ही में उन्होंने केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह से मुलाकात की थी, जिसकी तस्वीर खूब वायरल हुई थी। वैसे इससे पहले अक्षरा सिंह को प्रशांत किशोर के साथ भी देखा गया था।

वैसे चुनाव कौन लड़ेगा यह तो पार्टी तय करेगी लेकिन जिस तरह से कलाकार वर्ग की दिलचस्पी राजनीति में दिख रही है, वह बताता है कि बिहार चुनाव इस बार काफी अलग होने वाला है क्योंकि चुनाव में चेहरे का प्रभाव सबसे अधिक होता है, अब देखिए ये सब चेहरे चुनाव का रंग बिगाड़ते हैं या फिर पार्टियों की तकदीर संवारते हैं।

गिरीन्द्र नाथ झा
गिरीन्द्र नाथ झा ने पत्रकारिता की पढ़ाई वाईएमसीए, दिल्ली से की. उसके पहले वे दिल्ली यूनिवर्सिटी से स्नातक कर चुके थे. आप CSDS के फेलोशिप प्रोग्राम के हिस्सा रह चुके हैं. पत्रकारिता के बाद करीब एक दशक तक विभिन्न टेलीविजन चैनलों और अखबारों में काम किया. पूर्णकालिक लेखन और जड़ों की ओर लौटने की जिद उनको वापस उनके गांव चनका ले आयी. वहां रह कर खेतीबाड़ी के साथ लेखन भी करते हैं. राजकमल प्रकाशन से उनकी लघु प्रेम कथाओं की किताब भी आ चुकी है.

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