पुतिन के प्रति नरम रहने वाले डोनाल्ड ट्रंप क्यों भड़क उठे, जानें क्या है मामला?

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के प्रति भड़क उठे। ट्रंप ने एक सवाल के जवाब में कहा कि वह रूस पर 25-50 प्रतिशत तक सेकंडरी टैरिफ लगा देंगे।

Trump angry On Putin amid talk between russia ukraine war

रूस-यूक्रेन युद्धविराम की वार्ता के बीच पुतिन पर क्यों भड़के ट्रंप? Photograph: (आईएएनएस)

वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रविवार को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से खासे नाराज नजर आए। उन्होंने कहा कि अगर उन्हें ऐसा लगा कि मॉस्को यूक्रेन में युद्ध खत्म करने की उनकी कोशिशों में मुश्किलें खड़ी कर रहा है, तो वे रूसी तेल के खरीदारों पर 25% से 50% तक का सेकेंडरी टैरिफ लगा देंगे। 

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक ट्रंप ने एनबीसी न्यूज को बताया कि वह पिछले सप्ताह पुतिन की ओर से यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की के नेतृत्व की विश्वसनीयता की आलोचना किए जाने से बहुत नाराज हैं। टेलीविजन नेटवर्क ने रविवार को एक टेलीफोन इंटरव्यू का हवाला देते हुए यह बात कही।

रूस के प्रति नरम रहे हैं ट्रंप

जनवरी में पदभार ग्रहण करने के बाद से ट्रंप का रवैया रूस के प्रति नरम रहा है। रविवार को पुतिन के बारे में उनकी तीखी टिप्पणियां युद्धविराम पर कोई प्रगति न होने के कारण उनकी बढ़ती हताशा को दर्शाती हैं।

ट्रंप ने कहा, "यदि रूस और मैं, यूक्रेन में रक्तपात रोकने के लिए कोई समझौता करने में असमर्थ रहे, और यदि मुझे लगा कि यह रूस की गलती है... तो मैं तेल पर, रूस से आने वाले सभी तेल पर सेकेंडरी टैरिफ लगाने जा रहा हूं।"

अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, "इसका मतलब यह होगा कि अगर आप रूस से तेल खरीदते हैं, तो आप अमेरिका में व्यापार नहीं कर सकते। सभी तेल पर 25% टैरिफ होगा, सभी तेल पर 25 से 50 पॉइंट टैरिफ होगा।"

पुतिन से क्यों निराश हैं ट्रंप?

ट्रंप ने बाद में पत्रकारों से कहा कि वे पुतिन से निराश हैं, हालांकि उन्होंने यह भी कहा, "मुझे लगता है कि हम कदम दर कदम प्रगति कर रहे हैं।" उन्होंने यह भी कहा कि उन्होंने इस सप्ताह पुतिन से बात करने की योजना बनाई है।

ट्रंप ने कहा कि वे एक महीने के भीतर नए व्यापार कदम उठा सकते हैं।

अमेरिकी राष्ट्रपति के बयान पर मॉस्को की ओर से तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई।

पुतिन ने शुक्रवार को सुझाव दिया था कि यूक्रेन को अस्थायी प्रशासन के तहत रखा जा सकता है ताकि नए चुनाव हो सकें जो जेलेंस्की को बाहर कर सकें।

(यह खबर आईएएनएस समाचार एजेंसी की फीड द्वारा प्रकाशित है। इसका शीर्षक बोले भारत न्यूज डेस्क द्वारा दिया गया है।)

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