ऑस्ट्रेलिया की विमानन कंपनी कंतास एयरवेज ने ‘घोस्ट फ्लाइट्स’ के हजारों टिकट बेचने को लेकर एक मुकदमे के निपटारे के लिए 66 मिलियन डॉरल (करीब 550 करोड़ रुपए) का जुर्माना चुकाने को लेकर हामी भरी है। कंतास की मुख्य कार्यकारी (सीईओ) वैनेसा हडसन ने कहा कि यह कदम कंपनी की साख को हुए नुकसान को कम करने का प्रयास है। ऑस्ट्रेलियाई प्रतिस्पर्धा और उपभोक्ता आयोग (ACCC) ने कहा कि कंपनी 1.3 करोड़ डॉलर भुगतान उन 86,000 से अधिक ग्राहकों को करेगी जिन्होंने तथाकथित ‘घोस्ट फ्लाइट्स’ के टिकट बुक किए थे।
यह जुर्माना किसी भी ऑस्ट्रेलियाई एयरलाइन के लिए अब तक का सबसे बड़ा जुर्माना है और वैश्विक स्तर पर भी विमानन क्षेत्र में सबसे बड़े जुर्मानों में से एक है। हालांकि ऑस्ट्रेलिया के कुछ बैंकों और कैसीनो ऑपरेटरों को कानून तोड़ने के लिए इससे भी अधिक दंड का सामना करना पड़ा है।
क्या है ‘घोस्ट फ्लाइट्स’ घोटाला?
घोस्ट फ्लाइट्स का मतलब ऐसी उड़ानों से है जिन्हें कंपनियां रद्द कर चुकी होती हैं लेकिन इसके बावजूद वे इसके टिकट की बिक्री करती हैं। घोस्ट फ्लाइट्स का मामला अगस्त में एसीसीसी द्वारा शुरू किया गया था। उसने दावा किया था कि कुछ मामलों में कंतास ने उन उड़ानों के टिकट बेचे थे जो हफ्तों से रद्द थीं। यानी रद्द हो चुकी उड़ानों के लिए कंपनी ने 86,000 से अधिक यात्रियों को टिकट बेचे थे।
कंतास और एसीसी के बीच हुए जुर्माना समझौते को अब ऑस्ट्रेलिया की फेडरल कोर्ट द्वारा अनुमोदित किया जाना होगा। इस योजना के तहत, जिन ग्राहकों ने दो या उससे अधिक दिनों पहले रद्द की गई उड़ानों के लिए टिकट खरीदे थे, उन्हें मुआवजा दिया जाएगा। एयरलाइन के अनुसार, घरेलू उड़ानों के लिए उन्हें A$225 (12,392.14 रुपए) और अंतर्राष्ट्रीय टिकटों के लिए A$450 (24784.29 रुपए) मिलेंगे।
यह मामला कोविड के ठीक बाद का है। उस वक्त उड़ानों पर प्रतिबंध था। कई उड़ानें रद्द थीं। कंतास ने 8,000 से अधिक रद्द की गई उड़ानों के लिए टिकट बेच दिए थे। कंपनी ने यात्रियों को इसकी सूचना तक नहीं दी। ऐसे में कई यात्रियों को यात्रा में व्यवधान, अतिरिक्त खर्च और निराशा का सामना करना पड़ा। एयरलाइन ने दावा किया कि यह एक तकनीकी गलती थी। इसके लिए ऑस्ट्रेलियाई प्रतिस्पर्धा और उपभोक्ता आयोग ने कंतास पर $66 मिलियन का जुर्माना लगाया। कंतास को प्रभावित यात्रियों को मुआवजा देने का आदेश भी दिया गया है।
कंतास ने मांगी माफी
कंतास एयरलाइन की सीईओ वैनेसा हडसन ने इस गलती के लिए लोगों से माफी मांगी है। उन्होंने कहा कि “जब कोविड प्रतिबंधों के बाद उड़ानें फिर से शुरू हुईं, तो हम मानते हैं कि कंतास ने ग्राहकों को धोखा दिया। मानकों पर खरे नहीं उतरे। हमारी गलती की वजह से हजारों यात्री परेशान हुए इसके लिए हम माफी मांगते हैं। एयरलाइन ने यह भी कहा है कि वह यह सुनिश्चित करने के लिए काम कर रही है कि इस तरह की घटना दोबारा न हो।
बता दें कि एक अदालती फैसले में पाया गया कि कंतास ने 2020 में लगभग 1,700 ग्राउंड हैंडलिंग कर्मचारियों की छंटनी अवैध रूप से की थी, क्योंकि इसका उद्देश्य औद्योगिक कार्रवाई को रोकना था। अदालत ने फैसला सुनाया कि छंटनी गैरकानूनी थी क्योंकि उनका लक्ष्य हड़ताल को रोकना था। प्रभावित कर्मचारियों को कंतास को कितना भुगतान करना होगा, यह अभी तय नहीं हुआ है।
ऑस्ट्रेलियाई प्रतिस्पर्धा और उपभोक्ता आयोग के आरोप
अध्यक्ष जीना कैस-गॉटलीब के नेतृत्व में एसीसीसी ने आरोप लगाया कि कंतास ने 1 मई, 2022 से 31 जुलाई 2022 के भीतर प्रस्थान करने वाली कुछ उड़ानें रद्द कर दीं और एयरलाइन अपनी वेबसाइट पर औसतन दो सप्ताह से अधिक समय तक टिकट बेचती रही। वहीं कुछ मामलों में उड़ानें रद्द होने के बाद 47 दिनों तक। ये 8,000 घोस्ट फ्लाइट्स थीं।
उपभोक्ता निगरानी संस्था का यह भी आरोप है कि मई से जुलाई 2022 में प्रस्थान करने वाली 10,000 से अधिक उड़ानों के लिए कंतास ने मौजूदा टिकटधारकों को सूचित नहीं किया कि उनकी उड़ानें औसतन लगभग 18 दिनों के लिए और कुछ मामलों में 48 दिनों तक के लिए रद्द कर दी गई हैं।
एसीसीसी का आरोप है कि कंतास ने टिकटधारकों के लिए रद्दीकरण को दर्शाने के लिए अपने “बुकिंग प्रबंधित करें” वेब पेज को अपडेट नहीं किया। उसका आरोप है कि इस आचरण से मई और जुलाई 2022 के बीच कंतास द्वारा रद्द की गई उड़ानों का एक बड़ा हिस्सा प्रभावित हुआ।