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बेलग्रेड: विवादास्पद लिथियम खनन परियोजना के विरोध में हजारों लोगों ने सर्बिया की राजधानी बेलग्रेड में रैली निकाली है। यूरोपीय देश सर्बिया में यह रैली लिथियम खनन के खदान को दोबारा शुरू करने पर विरोध हो रहा है। पिछले कुछ सालों के बाद देश में होने वाला इस तरह का यह पहला विरोध प्रदर्शन है।
इस दौरान प्रदर्शकारियों ने जमकर नारेबाजी की है और रेलवे ट्रैक और एक प्रमुख राजमार्ग को रोका था जिसके बाद पुलिस के साथ उनकी झड़प हुई थी। विरोध प्रदर्शन से पहले दो प्रमुख नेताओं ने यह दावा भी किया था कि उन्हें कुछ समय के लिए हिरासत में भी लिया गया था।
आंतरिक मंत्री इविका डैसिक ने कहा है कि रैली में करीब 24 से 27 हजार लोगों ने हिस्सा लिया है। इविका ने आगे कहा है कि रैली में शामिल होने वाले 14 लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है।
सर्बिया के राष्ट्रपति अलेक्जेंडर वुसिक ने प्रदर्शकारियों पर उनके सरकार को उखाड़ फेकने का आरोप लगाया है। राष्ट्रपति वुसिक ने कहा है कि खनन परियोजना के विरोध के आड़ में उनके सरकार के खिलाफ पश्चिमी समर्थित साजिशें रचि जा रही है।
प्रदर्शकारियों ने लगाए "खुदाई नहीं करने" वाले नारे
रैली में शामिल होने वाले प्रदर्शकारियों ने बेलग्रेड के मुख्य रेलवे स्टेशन में घुस गए थे और यातायात को बाधित किया था। इससे पहले प्रशासन ने प्रदर्शकारियों को कहा था कि विरोध प्रदर्शन के दौरान सड़कों को जाम करने वाले कामों को गैरकानूनी माना जाएगा।
इविका डैसिक ने कहा कि आयोजकों को पुलिस द्वारा चेतावनी दी गई थी कि उनके इस तरह के कार्य को अवैध माना जाएगा और इसके लिए उनके खिलाफ कार्रवाई भी की जाएगी।
प्रदर्शकारियों ने खनन परियोजना के विरोध में जमकर नारेबाजी भी की है। उन लोगों ने "रियो टिंटो सर्बिया से बाहर निकल जाओ" और "तुम खुदाई नहीं करोगे" के नारे भी लगाए हैं।
सर्बिया के राष्ट्रपति ने क्या आरोप लगाया है
इस विरोध प्रदर्शन को सर्बिया के राष्ट्रपति ने एक साजिश करार दिया है। उन्होंने दावा किया कि यह विरोध प्रदर्शन उनकी सरकार को गिराने की एक व्यापक रणनीति का हिस्सा है। इसके लिए उन्होंने अनिर्दिष्ट पश्चिमी शक्तियों को जिम्मेदार ठहराया है।
सर्बिया के राष्ट्रपति ने यह भी दावा किया है कि इससे पहले रूसी खुफिया ने उन्हें सुनियोजित तख्तापलट की चेतावनी दी थे जिसके बाद ये विरोध प्रदर्शन देखे गए हैं।
हालांकि, बेलग्रेड विरोध के आयोजकों ने राष्ट्रपति के इन आरोपों से इनकार किया है और कहा है कि उनका प्रदर्शन पूरी तरह से लिथियम खनन से होने वाले पर्यावरण के नुकसान के खिलाफ है।
क्यों हो रहे हैं विरोध प्रदर्शन
दरअसल, सर्बिया के पश्चिमी शहर लोज़्निका के पास लिथियम का विशाल भंडार है। यहां पर एंग्लो-ऑस्ट्रेलियाई खनन कंपनी रियो टिंटो इस लिथियम खनन परियोजना को चला रही है। इस परियोजना को लेकर स्थानीयों का काफी विरोध प्रदर्शन देखा जा रहा है।
विरोध कर रहे सर्बिया के लोगों का कहना है कि यह खदान जहां पर है वहां पर खोदाई के कारण पानी के स्रोत प्रभावित होंगें। इससे वे प्रदूषित हो जाएंगे जिससे पर्यावरण और लोगों के सेहत पर भी बुरा असर पड़ेगा।
बता दें कि साल 2004 में इस भण्डार की खोज हुए थी और इस पर काम चल रहा था। लेकिन स्थानीय लोगों के विरोध प्रदर्शन के बाद इसे साल 2022 में रोक दिया गया था। ऐसे में पिछले महीने ही कोर्ट के ऑर्डर के बाद इस परियोजना पर फिर से काम शुरू किया गया है। परियोजना के शुरू होने पर फिर से विरोध प्रदर्शन देखा जा रहा है।