वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि भारत पर रूसी तेल आयात करने को लेकर लगाया गया टैरिफ रूस की अर्थव्यवस्था के लिए "बड़ा झटका" है। ट्रंप ने यह भी कहा कि नई दिल्ली रूस का "सबसे बड़ा या दूसरा सबसे बड़ा खरीदार" है। 

डोनाल्ड ट्रंप ने व्हाइट हाउस में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए दावा किया कि रूस की अर्थव्यवस्था गंभीर रूप से बाधित हुई है क्योंकि अमेरिका ने कई देशों पर टैरिफ लगाया है जिससे वैश्विक दबाव बढ़ा है।

ट्रंप ने क्या कहा?

ट्रंप ने कहा "मुझे लगता है रूस को अपने देश के निर्माण में फिर से जुट जाना चाहिए। यह एक विशाल देश है। रूस में अच्छा प्रदर्शन करने की अपार संभावनाएं हैं। लेकिन वे अच्छा प्रदर्शन नहीं कर पा रहे हैं। उनकी अर्थव्यवस्था अभी अच्छा प्रदर्शन नहीं कर रही है क्योंकि इस वजह से बुरी तरह से प्रभावित हुई है।"

ट्रंप ने भारत की ओर भी इशारा करते हुए कहा "जब अमेरिका के राष्ट्रपति अपने सबसे बड़े या दूसरे सबसे बड़े तेल खरीदार से कहते हैं कि अगर आप रूस से तेल खरीदते हैं तो हम आप पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाएंगे तो इससे कोई बड़ी मदद नहीं मिलती। यह एक बड़ा झटका था।"

गौरतलब है कि ट्रंप ने भारत पर 25 प्रतिशत टैरिफ का ऐलान किया था। इसके साथ ही रूस से तेल और अन्य सैन्य सामानों की खरीदारी को लेकर 25 प्रतिशत जुर्माने के रूप में भी लगाया था जिससे कुल टैरिफ 50 प्रतिशत हो गया। 

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का यह बयान ऐसे वक्त में आया है जब 15 अगस्त को उनकी मुलाकात रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से होनी तय है। दोनों देशों के प्रमुख की यह मुलाकात अलास्का में होगी। 

वोलोदिमीर जेलेंस्की से भी करेंगे बात

ट्रंप ने यह भी कहा कि वह इस बैठक के बाद यूरोपीय नेताओं से भी बात करेंगे। उन्होंने कहा "मुझे लगता है कि यह बहुत सम्मानजनक है कि रूसी राष्ट्रपति हमारे देश आ रहे हैं बजाय इसके कि हम उनके देश या किसी तीसरे पक्ष के यहां जाएं। लेकिन मुझे लगता है कि हम रचनात्मक बातचीत करेंगे।"

ट्रंप ने यह भी कहा कि उनकी योजना यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की से भी बात करने की है। इस दौरान ट्रंप ने यह भी दावा किया कि अपने दूसरे कार्यकाल के दौरान उन्होंने 5 युद्ध सुलझाए हैं। वहीं, भारत-पाकिस्तान के बीच समझौता कराने का दावा एक बार फिर से दोहराया। 

हालांकि भारत ने हमेशा ट्रंप के इस दावे से इंकार किया है और कहा कि भारत-पाकिस्तान के बीच समझौता दोनों देशों की सीधी बातचीत के जरिए हुआ था न कि किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता से। 

चीन से रिश्तों के संबंध में ट्रंप ने कहा कि हम चीन के साथ अच्छे तरीके से डील कर रहे हैं।