पटनाः राष्ट्रीय जनता दल (राजद) प्रत्याशी तेजस्वी यादव ने कड़ी टक्कर के बीच जीत हासिल की है। तेजस्वी यादव ने भाजपा प्रत्याशी सतीश कुमार को 14,532 वोटों से मात दी। वह वैशाली जिले की राघोपुर विधानसभा से उम्मीदवार हैं, यहां से लगातार तीसरी बार जीत हासिल की है। हालांकि, पहले कई राउंड तक वह सतीश कुमार से लगातार पीछे रहे।
कई राउंड की गिनती के बाद तेजस्वी को पिछड़ते देख ऐसा लगा कि वह यह सीट गंवा सकते हैं। हालांकि, अंतिम नतीजा तेजस्वी के पक्ष में रहा। तेजस्वी यादव गठबंधन की तरफ से सीएम पद के दावेदार भी थे और उन्हें मुख्यमंत्री उम्मीदवार घोषित किया गया था।
महागठबंधन को मिली करारी हार
बिहार विधानसभा चुनाव में महागठबंधन को करारी हार का सामना करना पड़ा। भारतीय जनता पार्टी और जनता दल यूनाइटेड के नेतृत्व वाले एनडीए ने शानदार बढ़त हासिल की। ऐसे में तेजस्वी को सीएम की ताजपोशी से दूर रहकर अब मजबूरन नेता प्रतिपक्ष का पद लेना पड़ेगा।
राघोपुर विधानसभा की बात करें तो तेजस्वी यादव को कुल 1,18,597 वोट मिले। वहीं, उनके निकटतम प्रतिद्वंद्वी रहे भाजपा उम्मीदवार सतीश कुमार को 1,04, 065 वोट मिले। इस सीट पर तीसरे स्थान पर स्वतंत्र उम्मीदवार बलिराम सिंह रहे जिन्हें 3086 वोट मिले।
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तेजस्वी यादव को लालू यादव के उत्तराधिकारी के रूप में देखा जा रहा है। चुनाव से पहले लालू परिवार में रस्साकशी देखने को मिली जब लालू यादव ने तेज प्रताप यादव को पार्टी और परिवार से बेदखल करने का ऐलान किया था। वहीं, तेजस्वी दो बार उपमुख्यमंत्री बन चुके हैं और लालू के स्वास्थ्य कारणों के चलते सक्रिय भूमिका में न होने से पार्टी पर पूरी तरह तेजस्वी का नियंत्रण है।
विधानसभा चुनाव के लिए महागठबंधन में राजद, कांग्रेस, सीपीआई (एमएल) (एल), सीपीआई, सीपीआई (एम), वीआईपी शामिल थी। इनमें से राजद के खाते में 7 सीटें आ चुकी हैं और 18 पर बढ़त है। पार्टी ने 142 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे।
कांग्रेस की स्थिति बेहद खराब
वहीं कांग्रेस महज एक सीट जीत पाई है और पांच पर बढ़त हासिल है। कांग्रेस ने 60 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे। सीपीआई (एमएल) (एल) एक सीट पर जीत हासिल कर चुकी है और एक पर बढ़त हासिल है। पार्टी 2020 विधानसभा चुनाव के नतीजों को दोहराने में असफल रही है।
पिछले विधानसभा चुनाव में राजद सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी। इस चुनाव में पार्टी को 75 सीटों पर जीत हासिल हुई थी। वहीं, भाजपा को 74 सीटों पर जीत मिली थी।
इस चुनाव में भारतीय जनता पार्टी और जनता दल यूनाइटेड की सीटों में इजाफा हुआ है। भाजपा जहां 74 से 91 सीटों पर जीत हासिल कर सकती है तो वहीं जदयू 43 से बढ़कर 83 पर पहुंच सकती है।
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पिछले चुनाव में एनडीए से अलग लड़ी लोक जनशक्ति पार्टी सिर्फ एक सीट पर जीत हासिल कर पाई थी। इस बार एनडीए में शामिल थी, 29 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे और पार्टी 6 सीटें जीत चुकी है और 13 पर बढ़त बनाए हुए है।
कांग्रेस के लिए इस चुनाव के नतीजे बेहद निराशाजनक रहे। जहां पिछली बार पार्टी ने 19 सीटों पर जीत हासिल की थी। इस बार इसका एक-तिहाई भी हासिल करने में मशक्कत कर रही है।

