'विराट को लगा कि अब जाने का समय आ गया है', कोहली के टेस्ट संन्यास पर बोले सौरव गांगुली

BCCI के पूर्व अध्यक्ष सौरव गांगुली ने कहा है कि कोहली के अंदर अभी कुछ साल और क्रिकेट बची थी। उन्होंने कहा कि महान खिलाड़ी बिना किसी के दबाव में आए अपने फैसले खुद करते हैं।

former bcci president sourav ganguly on virat kohli retirement felt it was time to go

टेस्ट क्रिकेट में विराट ने लगाए सर्वाधिक सात दोहरे शतक Photograph: (आईएएनएस)

कोलकाताः विराट कोहली ने 12 मई को टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लेने का निर्णय लिया था। इसके बाद से सोशल मीडिया और अन्य माध्यमों के जरिए उनके प्रशंसकों और अन्य क्रिकेट विश्लेषकों द्वारा तमाम अटकलें लगाई जा रही थीं। इस बीच भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और बीसीसीआई के पूर्व अध्यक्ष सौरव गांगुली ने सभी अटकलों पर विराम लगाते हुए कहा है कि विराट कोहली जान गए थे कि यह उनके इस फॉर्मेट को छोड़ने का समय आ गया है। 

कोहली ने 12 मई को #269 साइनिंग ऑफ लिखते हुए 14 साल लंबे टेस्ट करियर को अलविदा कहा था। इससे पहले कोहली का ऑस्ट्रेलिया दौरा कुछ खास नहीं रहा था और वह लगातार ऑफ स्टंप से बाहर जा रही गेंदों पर आउट हुए थे। इस सीरीज के बाद कोहली ने दिल्ली के रणजी मुकाबला भी खेला था। 

सौरव गांगुली ने क्या कहा?

गांगुली ने अब कोहली के संन्यास पर टिप्पणी करते हुए कहा कि कोहली जैसे कद का खिलाड़ी यह जानता है कि वह और उसकी फॉर्म कहां है? वह केवल 36 साल के थे और टी20 इंटरनेशनल से संन्यास ले चुके थे। गांगुली ने कहा कि कोहली में अभी कुछ साल और क्रिकेट बची थी। कोहली के रिटायरमेंट पर सभी की तरह गांगुली भी आश्चर्यचकित थे। हालांकि, उन्होंने जोर देकर कहा कि महान खिलाड़ी किसी के दबाव या प्रभाव में न आकर अपने फैसले खुद लेते हैं। 

गांगुली ने समाचार एजेंसी पीटीआई से बात करते हुए कहा "मैं कहूंगा कि यह बहुत अप्रासंगिक है। मेरी शर्तें, किसी और की शर्तें। एक खिलाड़ी के रूप में आप समझते हैं। एक खिलाड़ी के तौर पर हर कोई समझता है कि वह कहां खड़ा है। विराट को ही देख लीजिए। हर कोई कहता है कि क्यों? मैं जानता हूं कि टेस्ट क्रिकेट में उसके पांच साल अच्छे नहीं रहे लेकिन उसके जैसे चैंपियन खिलाड़ी फिर से अपनी पहचान बना लेते हैं। और मैं यह गारंटी देता हूं कि अगर वह इंग्लैंड के इस दौरे पर होते तो वह रन बनाते। लेकिन उन्हें लगा कि अब जाने का समय आ गया है।"

आलोचनाओं से घिरे थे गांगुली

गांगुली ने कोहली के संन्यास को अपने अनुभव से बताया। गांगुली जब टेस्ट क्रिकेट से रिटायर हुए थे तब वह 37 साल के थे। उन्होंने कभी टी20 इंटरनेशनल नहीं खेला और एक साल तक ओडीआई में चयन नहीं हुआ। 2011 के विश्व कप के लिए जब भारतीय टीम युवा खिलाड़ियों की तरफ आगे बढ़ रही थी तब गांगुली की उम्र करीब 40 साल थी। 

गांगुली को जब कप्तान के पद से हटाया गया और फिर टीम से बाहर किया गया तो वह लगातार आलोचनाओं का शिकार हो रहे थे। इसके बावजूद गांगुली ने 2006-07 में शानदार क्रिकेट खेला और किसी अन्य भारतीय बल्लेबाज की तुलना में अधिक रन बनाए। इसी दौरान गांगुली ने 'क्यों नहीं' की बजाय 'क्यों' कहकर मैदान से बाहर जाने का फैसला लिया। गांगुली ने कहा कि उन्हें पता था कि अब उनका समय आ गया है और ऐसा ही उन्हें कोहली के लिए भी लगता है।

कोहली ने टेस्ट क्रिकेट में 14 साल बिताए। इस दौरान उन्होंने 123 मैच खेले और 46.85 की औसत से 9,230 रन बनाए। क्रिकेट के सबसे लंबे फॉर्मेट में कोहली ने 30 शतक और 51 अर्धशतक जमाए। टेस्ट क्रिकेट में सर्वाधिक दोहरे शतक लगाने वाले भी कोहली ही हैं। कोहली ने सात दोहरे शतक लगाए है। वहीं, कोहली का सर्वाधिक स्कोर 254 रन नाबाद है।

यह भी पढ़ें
Here are a few more articles:
Read the Next Article