माइक्रोसॉफ्ट ने पाकिस्तान में बंद किया संचालन Photograph: (बोले भारत डेस्क)
दिग्गज टेक कंपनी Microsoft ने घोषणा की है कि वह पाकिस्तान में अपने सीमित परिचालन को बंद कर देगी। कंपनी का यह निर्णय अपने कार्यबल को कम करने के वैश्विक रणनीति के तहत उठाया गया है। कंपनी के इस फैसले के बाद विभिन्न हितधारकों ने इसे देश की अर्थव्यवस्था के लिए "चिंताजनक संकेत" करार दिया।
माइक्रोसॉफ्ट ने 25 वर्षों बाद पाकिस्तान में अपना कार्यालय बंद किया। कंपनी ने अपने निर्णय के पीछे वैश्विक पुनर्गठन और क्लाउड-आधारित साझेदार नेतृत्व वाले मॉडल में बदलाव का हवाला दिया। कंपनी ने जून 2000 में अपना कार्यालय शुरू किया था।
कार्यबल में लगातार कटौती
इससे पहले कंपनी अपने कार्यबल में लगातार कटौती कर रही है। साल 2023 से अब तक कंपनी ने करीब 9,100 नौकरियों की कटौती की है। यह कंपनी के कुल कार्यबल का करीब 4 प्रतिशत है।
माइक्रोसॉफ्ट पाकिस्तान के पूर्व संस्थापक कंट्री मैनेजर जवाद रहमान ने सरकार और आईटी मंत्री से आग्रह किया कि वे साहसिक केपीआई (मुख्य प्रदर्शन संकेतक) आधारित योजना के साथ प्रौद्योगिकी दिग्गजों के साथ जुड़े।
उन्होंने कहा कि कंपनी का बाहर निकलना मौजूदा कारोबारी माहौल को दर्शाता है। उन्होंने लिंक्डइन पर लिखा "यहां तक कि माइक्रोसॉफ्ट जैसी वैश्विक दिग्गज कंपनियों को भी बने रहना असंतुलित लगता है।"
जवाद ने आगे कहा कि कंपनी पाकिस्तान में पूर्ण रूप से वाणिज्यिक आधार संचालित नहीं करता है बल्कि वह उद्यम, शिक्षा और सरकारी ग्राहकों पर केंद्रित संपर्क कार्यालयों पर अधिक निर्भर है।
पूर्व राष्ट्रपति ने भी जताई चिंता
वहीं, हाल के वर्षों में कंपनी ने अधिकतर कार्य स्थानीय साझेदारों को सौंप दिया है।
पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने भी कंपनी के देश में बंद होने पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने एक्स पर पोस्ट करते हुए कंपनी के परिचालन को बंद करने को लेकर चिंता व्यक्त की।
उन्होंने दावा किया कि कंपनी ने एक बार विस्तार के लिए पाकिस्तान को चुना था लेकिन अस्थिरता के कारण कंपनी ने 2022 के अंत में वियतनाम को चुना।