विवादों में अमेरिकी कंपनी Apple?

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Controversy over Apple's new iPad Pro ad

Apple के नए आईपैड प्रो के विज्ञापन पर विवाद (फोटो- स्क्रीनशॉट, एप्पल विज्ञापन)

दिल्ली: अमेरिकी टेक्नॉलोजी कंपनी एप्पल विवादों में है। अपने किसी प्रोडक्ट की वजह से नहीं बल्कि विज्ञापन की वजह से। इसी हफ्ते एप्पल ने अपना नया आईपैड प्रो लॉन्च किय है। इसमें एम4 चिप लगी है। जो अब तक कि सबसे एडवांस है। आईपैड प्रो का वीडियो एप्पल के सीईओ टिम कुक ने अपने सोशल मीडिया हैंडल पर भी शेयर किया। लेकिन उसके बाद से ही चारों तरफ उनकी और कंपनी की निंदा हो रही है। जिसके बाद कंपनी के वाइस प्रेसिडेंट ने माफी मांगी और कहा कि क्रिएटिवीटी यानि रचनात्मकता उनकी कंपनी की बुनियाद में है। उनकी कोशिश रहती है कि एक ऐसा उत्पाद बनाया जाए जिसका दुनिया भर के क्रिएटिव लोग इस्तेमाल कर सकें। लेकिन वो मानते हैं कि इस विज्ञापन में उनसे चूक हुई है। और उन्हें इसका अफसोस है।

Apple के विज्ञापन पर विवाद क्यों है?

इस विज्ञापन में दिखाया गया है कि एम4 चिप वाला ये आईपैड प्रो कितना पॉवरफुल है। इसके लिए एक हाइड्रोलिक प्रेश के जरिए वो सभी साजोसामन क्रश कर दिए गए हैं, जो क्रिएटिव लोगों के लिए प्रिय होती हैं। मसलन ग्रामोफोन, गिटार, पियानो और सैक्सोफोन जैसे संगीत वाद्य यंत्र, पेंटिंग में इस्तेमाल होने वाले कलर बॉक्स, टाइपराइटर जैसी तमाम चीजें क्रश की गई हैं। और जब इन सबको दबाने के बाद हाईड्रोलिक प्रेश जब ऊपर उठता है तो आईपैड प्रो नजर आता है। इस विज्ञापन का मकसद यही रहा होगा कि इस एक आईपैड प्रो से आप बहुत कुछ कर सकते हैं। लेकिन जिस तरीके से ये मैसेज देने की कोशिश की गई है, उसने विवाद खड़ा कर दिया है।

सिम्बॉलिज्म की भी कोई मर्यादा होती है?

विज्ञापन में सिम्बॉलिज्म का बड़ा महत्व होता है। बहुत थोड़े में आपको अपने उत्पाद का महत्व बताना होता है। लेकिन आप प्रतीक क्या चुनते और उनक प्रतीकों का इस्तेमाल कैसे करते हैं ये बड़ा सवाल है। इस विज्ञापन के तुरंत बाद लोगों ने टिम कुक और कंपनी को आड़े हाथों लिया। कुछ ने कहा कि अपने उत्पाद को महान बताने के लिए लोगों के क्रिएटिव औजारों को, इंस्ट्रूमेंट्स को, टूल्स को रौंदने की जरूर नहीं थी। कोई और तरीका अपनाया जा सकता था।

आर्टिफिशिल इंटेलिजेंस बनाम मानव इंटेलिजेंस

इसने आर्टिफिशिल इंटेलिजेंस और मानवीय इंटेलिजेंस को लेकर जो बहस चल रही है उसे भी हवा दे दी है। क्या आर्टिफिशिल इंटेलिजेंस सबकुछ कर सकता है या इसे सभी कुछ करने देना चाहिए? इसकी कोई सीमा निर्धारित की जाएगी या नहीं? या मानव सभ्यता और क्षमता के जितने भी अच्छे तत्व हैं, गुण हैं सबको एआई को नष्ट करने दिया जाएगा। तकनीक इंसानों की बेहतरी के लिए है या फिर इंसानों के खात्मे के लिए। बहुतेरे ऐसे सवाल हैं जो इस एक विज्ञापन ने खड़े कर दिये हैं। एप्पल कंपनी के नैतिक मूल्यों पर भी सवाल उठ रहे हैं। लोग पूछ रहे हैं कि मुनाफे के लिए आप किस सीमा तक गिरेंगे?

रितिक रोशन और ह्यूग ग्रांट ने सवाल उठाए

एप्पल के इस विज्ञापन का नामी-गिरामी कलाकारों ने भी विरोध किया है। मशहूर बॉलीवुड अभिनेता रितिक रोशन ने इस पर सवाल उठाया है। उन्होंने कहा है कि ये बेहद उदास और लापरवाह विज्ञापन है। हॉलीवुड एक्टर ह्यूग ग्रांट ने कहा है कि सिलिकॉन वैली के सौजन्य से ये मानव अनुभव की तबाही है। आप एक बार फिर ये विज्ञापन देखिए और अपनी प्रतिक्रिया दीजिए।

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