नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस साल सितंबर में न्यूयॉर्क शहर में होने वाली संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक के लिए अमेरिका जाने की अटकलें तेज हो गई हैं। पीएम मोदी के पहले भी इसमें हिस्सा लेने के लिए अमेरिका जाने का कार्यक्रम लगभग तय था। हालांकि, पिछले एक महीने में जिस तरह अमेरिका के साथ टैरिफ पर तनातनी नजर आई है, वैसे में अगर पीएम मोदी न्यूयॉर्क जाते हैं तो ये अहम होगा। साथ ही ये सवाल भी खड़ा हो गया है कि क्या डोनाल्ड ट्रंप के साथ पीएम मोदी की द्विपक्षीय बैठक होगी? वैसे सरकार की ओर से इस दौरे के बारे में कोई भी पुष्टि नहीं की गई है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार संयुक्त राष्ट्र महासभा के 80वें सत्र की बहस के लिए वक्ताओं की प्रोविजनल लिस्ट के अनुसार, भारत के 'सरकार के प्रमुख' 26 सितंबर की सुबह सत्र को संबोधित करेंगे। इजराइल, चीन, पाकिस्तान और बांग्लादेश के शासनाध्यक्ष भी उसी दिन संयुक्त राष्ट्र महासभा की आम बहस को संबोधित करने वाले हैं।
'पीएम मोदी का अमेरिका जाने का कार्यक्रम अभी फाइनल नहीं'
तमाम अटकलों के बीच न्यूज-18 ने अपनी एक रिपोर्ट में सरकारी सूत्रों के हवाले से बताया कि प्रधानमंत्री की वाशिंगटन यात्रा अभी तय नहीं हुई है। एक सूत्र ने कहा, इस बारे में अभी फैसला नहीं हुआ है कि पीएम मोदी UNGA के लिए जाएंगे या नहीं।'
दूसरी ओर इंडिया टुडे की रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि पीएम मोदी अमेरिका जा सकते हैं। साथ ही उनकी ट्रंप से मुलाकात भी संभव है। इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार इस दौरे को लेकर तैयारियां जारी हैं। रिपोर्ट के अनुसार इस दौरे की मुख्य वजह UNGA को संबोधित करना है। हालांकि, एक अहम लक्ष्य ट्रंप से मिलना भी होगा ताकि टैरिफ को लेकर सामने आए अंतर को खत्म किया जा सके और एकमत हुआ जा सके। ट्रंप 23 सितंबर को UNGA को संबोधित करेंगे।
पिछले साल एस जयशंकर ने भारत का किया था प्रतिनिधित्व
इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार ट्रंप के अलावा पीएम मोदी इस दौरे में दुनिया के कुछ अन्य नेताओं से भी मुलाकात करेंगे। इसमें यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की शामिल हैं। वैसे, पिछले साल पीएम मोदी के नाम पर UNGA में स्लॉट बुक कराने के बावजूद प्रधानमंत्री नहीं गए थे। उनकी जगह विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सत्र को संबोधित किया था। पीएम मोदी इस साल फरवरी में अमेरिका गए थे, जहां उन्होंने व्हाइट हाउस में डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात की थी।
उस समय अपनी बैठक के बाद जारी संयुक्त बयान में प्रधानमंत्री मोदी और ट्रंप ने 2025 तक पारस्परिक रूप से लाभकारी, बहु-क्षेत्रीय द्विपक्षीय व्यापार समझौते (बीटीए) के पहले चरण पर बातचीत करने की योजना की घोषणा की थी।
हालांकि, बाद में ट्रेड डील पर बात नहीं बनती देख ट्रंप ने भारत पर 25 प्रतिशत टैरिफ का ऐलान किया। साथ ही उन्होंने रूस से तेल खरीद को लेकर भारत पर अतिरिक्त जुर्माने की भी बात कही। इसके बाद 6 अगस्त को व्हाइट हाउस ने भारतीय आयात पर 25 प्रतिशत अतिरिक्त टैरिफ की घोषणा की, जिससे भारत पर कुल टैरिफ 50 प्रतिशत हो गया है। अतिरिक्त टैरिफ 27 अगस्त से लागू होगा। हालाँकि, भारत ने इस पर अभी आधिकारिक तौर पर इस पर कोई ठोस प्रतिक्रिया नहीं दी है। भारत ने इसे गलत बताते हुए नजरअंदाज किया हुआ है और कह चुका है कि वह अपने हितों से समझौता नहीं करेगा।