ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत कैसे कर रहा पाकिस्तान का हर झूठ बेनकाब?

भारत के ऑपरेशन सिंदूर (Operation Sindoor) के बाद पाकिस्तान की ओर से फर्जी सूचनाओं और खबरों की बाढ़ सी आई हुई है। हालांकि उसका हर झूठ पकड़ा जा रहा है।

Fake News from Pakistan

Photograph: (AI/ Grok)

नई दिल्ली: भारत की ओर से कल अंजाम दिए गए 'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद से ही पाकिस्तान ने फर्जी खबरों और झूठ की झड़ी लगा रखी है। भारत की ओर से हालांकि लगातार इन झूठ का पर्दाफाश भी किया जा रहा है। पाकिस्तान की ओर से पिछले दो दिनों भारतीय लड़ाकू विमान सहित ड्रोन और भारत की सैन्य बेेस को निशाना बनाने जैसी कई झूठी खबरें फैलाई जा रही हैं। हालांकि, सच लगातार सामने आ रहा है।

ऑपरेशन सिंदूर के एक दिन बाद गुरुवार को पाकिस्तानी मीडिया ने खबर दी कि सुरक्षा बलों ने लाहौर के वाल्टन इलाके में एक भारतीय ड्रोन को मार गिराया है। बताया गया कि सुरक्षा अधिकारियों ने ड्रोन को देखते ही उसे मार गिराया, और इस घटना में किसी तरह के नुकसान की खबर नहीं है। फिलहाल इस बारे में जानकारी का इंतजार है।

दूसरी ओर रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि चकवाल के दिवालीयान इलाके में एक और ड्रोन को नष्ट किया गया। किसी के हताहत होने या नुकसान की कोई खबर नहीं है।

इससे पहले भी कई पाकिस्तानी सोशल मीडिया हैंडल ने दावा किया था कि सेना ने एक यूएवी ड्रोन को रोका जो पाकिस्तान के गुजरांवाला में गिर गया था। हालांकि, दिलचस्प बात ये है कि पाकिस्तानी हैंडल के इस पोस्ट में शेयर की गई तस्वीरें असल में 2022 में रूस-यूक्रेन संघर्ष से जुड़ी है।

पाकिस्तान के कम से कम 8 झूठे दावे हुए बेनकाब

बुधवार (7 मई) तड़के रात 1 बजे के बाद भारतीय सेना ने ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया था। इसमें पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकवादी शिविरों को निशाना बनाया गया। राफेल और मिग विमान आधे घंटे से भी कम समय तक हवा में रहे और सीमा पार नौ स्थानों पर मिसाइलों की बरसात कर दी।

पाकिस्तान ने इसके बाद एक के बाद एक गलत सूचनाएं फैलाने का काम शुरू किया। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने कहा कि पाकिस्तान ने 'जमीनी हकीकत से ध्यान हटाने की हताशा भरी कोशिश' करते हुए में सोशल मीडिया पर बड़े पैमाने पर गलत सूचनाएं फैलाई।

मंत्रालय ने कहा, 'पाकिस्तान समर्थक सोशल मीडिया हैंडल और यहां तक ​​कि वहां की प्रभावशाली राजनीतिक हस्तियां भी जानबूझकर फर्जी खबरें फैला रही हैं, सैन्य जीत और वीरतापूर्ण प्रतिशोध की कहानियां गढ़ रही हैं, जो वास्तव में हुआ ही नहीं हैं।'

राफेल जेट को मार गिराए जाने सहित कम से कम आठ मनगढ़ंत दावों को पाकिस्तान समर्थक सोशल मीडिया खातों और पड़ोसी देश के प्रमुख राजनीतिक हस्तियों द्वारा साझा किया गया, जिनकी पोल अब खुल रही है।

क्या पाकिस्तान ने कोई भारतीय ड्रोन गिराया?

भारत के ड्रोन को गुरुवार को लाहौर सहित कुछ और जगहों पर गिराए जाने की खबरों के बीच भारत के पीआईबी फैक्ट चेक ने बताया कि शेयर की जा रही कई तस्वीरें पुरानी हैं। इसमें पुरानी तस्वीरों को भी पेश करते हुए कहा गया कि ये फोटो रूस-यूक्रेन युद्ध से जुड़ी है।

इससे पहले कल पाकिस्तान की ओर से भारत के राफेल सहित पांच लड़ाकू विमानों को गिराने का भी दावा किया गया था। इस दावे के लिए शेयर की जा रही तस्वीरें भी पुरानी साबित हुई हैं। भारत के प्रेस इनफॉरमेशन ब्यूरो ने इन दावों को खारिज करते हुए कुछ तस्वीरें शेयर की हैं। शेयर किए गए वीडियो में से एक वास्तव में, भारतीय वायु सेना (IAF) का मिग-29 लड़ाकू जेट है, जो सितंबर 2024 में राजस्थान के बाड़मेर में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इसी तरह, बहावलपुर के पास पाकिस्तान द्वारा राफेल जेट को गिराने का दावा करने वाला एक और वीडियो वास्तव में एक IAF मिग-21 लड़ाकू जेट का है, जो 2021 में पंजाब के मोगा जिले में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था।

ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान द्वारा भारत के एक जेट को मार गिराने वाला एक और वीडियो फरवरी 2025 का है और इसमें ग्वालियर के शिवपुरी के पास भारतीय वायु सेना के मिराज 2000 विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने को दिखाया गया है, जो एक नियमित प्रशिक्षण मिशन के दौरान हुआ था।

इससे भी अधिक आश्चर्यजनक बात यह है कि जब CNN के साथ इंटरव्यू के दौरान पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ से भारतीय जेट को मार गिराने के ठोस सबूत मांगे गए, तो उन्होंने जवाब दिया, 'यह सब सोशल मीडिया पर है, और भारतीय सोशल मीडिया पर, हमारे सोशल मीडिया पर नहीं। जेट का मलबा उनके हिस्से में गिरा। यह सब भारतीय मीडिया में है।'

क्या भारत ने एलओसी पर सफेद झंडे दिखाए?

ऑपरेशन सिंदूर के तुरंत बाद, पाकिस्तान ने नियंत्रण रेखा पर भारी गोलीबारी की। गोलाबारी में भारतीय पक्ष के 15 नागरिक मारे गए हैं, और अधिकारियों को बॉर्डर के करीब के निवासियों को बंकरों में ले जाने के लिए मजबूर होना पड़ा।

इस बीच पाकिस्तानी मीडिया और कई सोशल मीडिया हैंडल ने वीडियो शेयर किए, जिसमें दावा किया गया कि भारतीय सेना हार स्वीकार करने के लिए सफेद झंडा फहरा रही है। 

समा टीवी पर दिखाई गई एक रिपोर्ट में कहा गया है कि नियंत्रण रेखा के साथ लगे चोरा कॉम्प्लेक्स में एक सफेद झंडा फहराया गया था। विडंबना यह है कि भारत के भीतर सीमा पर किसी भी 'चोरा कॉम्प्लेक्स' का कोई डिजिटल फुटप्रिंट नहीं है।

ऑनलाइन शेयर किए गए कई वीडियो में भी इसी तरह के दावे किए गए हैं। पाकिस्तान की कई और वेबसाइट ने इसे दिखाया। हालांकि, भारत ने स्पष्ट किया कि शेयर किए जा रहे दृश्य सितंबर 2019 के हैं, जब पाकिस्तानी सेना अपने मृत सैनिकों के शवों को बरामद करने के लिए एलओसी पर सफेद झंडा फहरा रही थी।

पीआईबी फैक्ट चेक ने उन दावों को भी खारिज किया जिसमें कहा गया था कि पाकिस्तान ने ऑपरेशन सिंदूर के जवाब में श्रीनगर में एक भारतीय ब्रिगेड मुख्यालय को नष्ट कर दिया। पीआईबी फैक्ट चेक ने कहा, 'सोशल मीडिया पोस्ट में झूठा दावा किया गया है कि पाकिस्तान ने भारतीय ब्रिगेड मुख्यालय को नष्ट कर दिया है। यह दावा #FAKE है। कृपया असत्यापित जानकारी साझा करने से बचें और सटीक जानकारी के लिए केवल भारत सरकार के आधिकारिक स्रोतों पर ही भरोसा करें।'

फर्जी खबरें फैलाने का पाकिस्तान का खेल पुराना है...

भारतीय रक्षा विशेषज्ञों के अनुसार पाकिस्तान समर्थक सोशल मीडिया हैंडल और प्रमुख पाकिस्तानी अधिकारियों द्वारा फर्जी तस्वीरें प्रसारित करना, वीडियो को गलत तरीके से पेश करना और पूरी तरह से मनगढ़ंत दावों का प्रचार करने का काम पड़ोसी देश पहले भी करता रहा है।

पाकिस्तान ऐसा जमीनी सच्चाई को छुपाने के लिए करता है। समाचार एजेंसी आईएएनएस की रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान द्वारा अक्सर अपनाई जाने वाली इस रणनीति का उद्देश्य भारत की कार्रवाई के प्रभाव से अपने लोगों का ध्यान हटाने का होता है। साथ ही ऐसा करके पाकिस्तान घरेलू भावना और अंतर्राष्ट्रीय राय दोनों को प्रभावित करने की भी कोशिश करता है।

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