नई दिल्ली: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने शनिवार को एक गंभीर आरोप लगाया है। उन्होंने दावा किया कि कृषि कानूनों के विरोध के दौरान दिवंगत भाजपा नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली को उन्हें धमकाने के लिए भेजा गया था। राहुल गांधी के इस बयान पर अरुण जेटली के बेटे रोहन जेटली और भाजपा ने कड़ा पलटवार किया है, जिसमें उन्होंने राहुल के दावे को 'फर्जी खबर' करार दिया है।
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के वार्षिक विधि सम्मेलन में बोलते हुए राहुल गांधी ने कहा, "मुझे याद है, जब मैं कृषि कानूनों के खिलाफ लड़ रहा था, तो अरुण जेटली को मुझे धमकाने के लिए भेजा गया था। उन्होंने कहा था, 'अगर आप सरकार का विरोध करते हुए इसी रास्ते पर चलते रहे, तो हमें आपके खिलाफ कार्रवाई करनी होगी'।"
राहुल गांधी ने आगे बताया कि उन्होंने जेटली से कहा, "मुझे नहीं लगता कि आपको पता है कि आप किससे बात कर रहे हैं, क्योंकि हम कांग्रेस के लोग हैं, हम कायर नहीं हैं।"
राहुल गांधी के बयान पर अरुण जेटली के बेटे रोहन जेटली ने दिया जवाब
राहुल गांधी के इस बयान के तुरंत बाद, रोहन जेटली ने एक्स पर एक पोस्ट के माध्यम से उनका खंडन किया। उन्होंने कहा कि किसी भी विरोधी राय को लेकर किसी को धमकाना मेरे पिता के स्वभाव में नहीं था। वे एक दृढ़ लोकतांत्रिक थे और हमेशा सहमति बनाने में विश्वास रखते थे। अगर कभी कोई ऐसी स्थिति आती भी, जैसी राजनीति में अक्सर आती है, तो वे खुले और स्वतंत्र संवाद के माध्यम से सभी के लिए स्वीकार्य समाधान निकालने की कोशिश करते थे। यही उनका स्वभाव था और यही उनकी आज भी पहचान है।
रोहन जेटली ने राहुल गांधी के दावे में सबसे बड़ी तथ्यात्मक त्रुटि की ओर इशारा करते हुए कहा- "मेरे पिता अरुण जेटली का निधन 2019 में हो गया था। कृषि कानून 2020 में पेश किए गए थे।" उन्होंने राहुल गांधी से उन लोगों के बारे में बात करते समय सावधान रहने का आग्रह किया जो अब इस दुनिया में नहीं हैं।
रोहन जेटली ने लिखा, "मैं राहुल गांधी से अपेक्षा करता हूं कि वे उन लोगों के बारे में बोलते समय संयम बरतें जो अब हमारे बीच नहीं हैं। उन्होंने मनोहर पर्रिकर जी के साथ भी कुछ ऐसा ही किया था, जब उन्होंने उनके अंतिम दिनों का राजनीतिकरण किया, जो उतनी ही खराब सोच थी। जो इस दुनिया में नहीं हैं, उन्हें शांति से रहने दें।"
Rahul Gandhi now claims my late father, Arun Jaitley, threatened him over the farm laws.
— Rohan Jaitley (@rohanjaitley) August 2, 2025
Let me remind him, my father passed away in 2019. The farm laws were introduced in 2020. More importantly, it was not in my father's nature to threaten anyone over an opposing view. He was a…
भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने भी इस दावे को फर्जी खबर करार देते हुए समय सीमा को स्पष्ट किया कि "अरुण जेटली का निधन 24 अगस्त 2019 को हुआ था। कृषि विधेयकों का मसौदा 3 जून 2020 को केंद्रीय मंत्रिमंडल के सामने लाया गया था। कानून सितंबर 2020 में बने थे।" उन्होंने राहुल गांधी से तथ्यों का पालन करने और अपने बयानों को ठीक करने को कहा।