अमृतसरः पंजाब में नशे के खिलाफ बड़ा अभियान छेड़ा गया है। मुख्यमंत्री भगवंत मान द्वारा राज्य को नशामुक्त बनाने के लिए तीन महीने का अल्टीमेटम देने के एक दिन बाद, पंजाब पुलिस ने शनिवार को राज्यभर में 750 स्‍थानों पर छापेमारी की। इस अभियान में करीब 12,000 पुलिसकर्मी शामिल रहे।

राज्य सरकार द्वारा नशा विरोधी अभियान 'युद्ध नशिया विरुद्ध' के तहत नशा तस्करों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है। कई स्‍थानों पर नशा तस्करों की संपत्तियों को भी ध्वस्त किया गया। इस अभियान की निगरानी के लिए वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा के नेतृत्व में एक कैबिनेट उप-समिति गठित की गई है।

सभी पार्टियों से सहयोग की अपील

कैबिनेट मंत्री अमन अरोड़ा ने सभी राजनीतिक दलों से अपील की है कि वे राजनीति से ऊपर उठकर पंजाब को नशामुक्त बनाने के इस अभियान में सरकार का साथ दें। उन्होंने कहा, "यह मुद्दा किसी पार्टी का नहीं, बल्कि पंजाब के युवाओं और आने वाली पीढ़ियों के भविष्य का है।"

शनिवार को हुई कैबिनेट समिति की बैठक में मुख्य सचिव केएपी सिन्हा और पुलिस महानिदेशक गौरव यादव भी शामिल हुए। बैठक के बाद मंत्री चीमा ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि समिति के सदस्‍यों को अलग-अलग जिलों की जिम्‍मेदारियां सौंपी गई हैं।

समिति सदस्यों को अलग-अलग जिलों की मिली जिम्मेदारी

चीमा ने कहा कि वह पठानकोट, गुरदासपुर, नवांशहर, होशियारपुर, रूपनगर और तरनतारन की निगरानी करेंगे, जबकि अमन अरोड़ा लुधियाना, पटियाला, कपूरथला, मोहाली, अमृतसर और जालंधर जिलों में अभियान की देखरेख करेंगे। मंत्री तरणजीत सिंह सोंद संगरूर, बरनाला, बठिंडा, फतेहगढ़ साहिब, मोगा और मालेरकोटला की जिम्मेदारी संभालेंगे, जबकि लालजीत सिंह भुल्लर फरीदकोट, मुक्तसर, फाजिल्का, मानसा और फिरोजपुर की देखरेख करेंगे।

स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह को नशामुक्ति और पुनर्वास कार्यक्रमों की निगरानी की जिम्मेदारी दी गई है। मंत्री अमन अरोड़ा ने स्पष्ट किया कि नशा करने वालों को अपराधी के रूप में नहीं देखा जाएगा, बल्कि मरीजों के रूप में इलाज दिया जाएगा।

राजनीतिक बयानबाजी और सरकार की प्रतिबद्धता

अरोड़ा ने पूर्व सरकारों पर निशाना साधते हुए कहा कि नशे की समस्या पिछली सरकारों की देन है। उन्होंने कहा, "360 डिग्री पर कार्रवाई जमीन पर नजर आ रही है। बिना जनता के समर्थन के इस समस्या को पूरी तरह समाप्त करना संभव नहीं है।" उन्होंने भरोसा दिलाया कि अरविंद केजरीवाल और भगवंत मान के नेतृत्व में पंजाब सरकार नशे के इस कैंसर को जड़ से खत्म करेगी।

राज्य सरकार द्वारा गठित समिति पुलिस और स्वास्थ्य विभाग के कार्यों की निगरानी करेगी ताकि नशा तस्करी और नशे की लत से पीड़ित लोगों के इलाज में कोई कमी न रह जाए।