पटना: बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी-BPSC) की 70वीं पीटी परीक्षा रद्द करने की मांग कर रहे अभ्यर्थियों पर लाठीचार्ज के बाद विपक्षी नेता अब इस मुद्दे पर बिहार सरकार को घेरने में लगे हैं।

कांग्रेस नेता राहुल गांधी, राजद प्रमुख लालू यादव, और जन सुराज के संस्थापक प्रशांत किशोर ने अभ्यर्थियों पर लाठीचार्ज की आलोचना की है। राहुल गांधी ने कहा कि सरकार अपनी नाकामी छुपाने के लिए युवाओं पर लाठीचार्ज कर रही है।

वहीं गुरुवार को अभ्यर्थियों से मिलने पहुंचे प्रशांत किशोर ने कहा कि अगर छात्र मार्च को लेकर सड़क पर उतरेंगे तो वे छात्रों में सबसे आगे रहेंगे। उन्होंने अभ्यर्थियों को सरकार को तीन दिन का अल्टीमेटम देने की बात कही और कहा कि अगर सरकार तीन दिनों में उनकी बात नहीं सुनती है, तो वे छात्रों के आंदोलन में सबसे आगे होंगे।

BPSC परीक्षा मामले में राहुल गांधी ने क्या कहा है

मामले में राहुल गांधी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, "मैंने संसद में कहा था कि जिस तरह एकलव्य का अंगूठा कटवाया गया था उसी तरह पेपर लीक करवाकर युवाओं का अंगूठा काटा जाता है। इसका ताजा उदाहरण बिहार है। बीपीएससी अभ्यार्थी पेपर लीक के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं और एग्जाम को रद्द करने की मांग कर रहे हैं। लेकिन, एनडीए की सरकार अपनी नाकामी को छुपाने के लिए उल्टा छात्रों पर ही लाठी चार्ज करवा रही है। यह बेहद शर्मनाक और निंदनीय है। छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हम उनके साथ हैं और उन्हें न्याय दिलाने के लिए लड़ेंगे।"

वहीं राजद प्रमुख और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव ने छात्रों पर लाठीचार्ज को गलत बताया है। उन्होंने कहा कि छात्रों पर लाठीचार्ज नहीं करना चाहिए। यह गलत बात है।

बीपीएससी अभ्यर्थियों के समर्थन में उतरे प्रशांत किशोर

प्रशांत किशोर गुरुवार को पटना के गर्दनीबाग धरना स्थल पहुंचे और अभ्यर्थियों से मुलाकात की। उन्होंने कहा कि यह छात्रों का संघर्ष है और मैं यहां राजनीतिक दल के तौर पर नहीं आया हूं। युवाओं के साथ जो सरकार ने बर्बरतापूर्ण कार्रवाई की है, उसका विरोध करता हूं।

सरकार छात्रों के एक प्रतिनिधिमंडल से मिलकर उनकी मांगों पर सहानुभूति पूर्वक विचार करे। जिस अभ्यर्थी ने अपनी जान दी है, उसके परिजनों को सरकार को 10 लाख रुपए तुरंत देना चाहिए, क्योंकि वह गरीब परिवार से आता था।

प्रशांत ने यह भी कहा कि आप लोग के साथ हम 27 दिसंबर को चलने को तैयार हैं। कोई लाठी नहीं मारेगा, अगर लाठी मारेगा तो सरकार गिरेगी। नीतीश कुमार राजा नहीं हैं, जनता राजा है। नीतीश कुमार बंगले में बैठकर चार अधिकारियों की मदद से लाठी नहीं चलवा सकते हैं। जन सुराज पहले ही बीपीएससी अभ्यर्थियों की मांगों का समर्थन कर चुकी है।

ये भी पढ़ें: क्या रूस के हमले से अजरबैजान एयरलाइंस का विमान हुआ हादसे का शिकार? क्यों शुरू हुई ऐसी चर्चा

क्या है पूरा मामला

आपको बता दें कि, बीपीएससी की 70वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा रद्द कराने की मांग को लेकर धरना पर बैठे अभ्यर्थी बुधवार को बीपीएससी कार्यालय घेराव करने पहुंचे। इस दौरान पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की। आरोप है कि जब वे नहीं रुके तो पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा। लाठीचार्ज में कई अभ्यर्थी बुरी तरह से घायल हो गए थे।

दरअसल 13 दिसंबर को आयोजित संयुक्त प्रतियोगी परीक्षा में प्रदेश की राजधानी पटना के बापू भवन परीक्षा केंद्र पर प्रश्न पत्र लीक होने की अफवाह फैल गई थी, जिसके बाद सैकड़ों उम्मीदवारों ने विरोध दर्ज कराने के लिए परीक्षा का बहिष्कार भी किया था।

इसके बाद बीपीएससी ने बापू परीक्षा परिसर में परीक्षा देने वाले अभ्यर्थियों के लिए फिर से परीक्षा आयोजित करने का आदेश दिया है। दूसरी तरफ छात्र पूरी परीक्षा को रद्द कराने की मांग को लेकर अड़े हुए है।

(समाचार एजेंसी आईएएनएस के इनपुट के साथ)