नई दिल्ली: रक्षा क्षेत्र में स्वदेशीकरण और सैन्य तकनीक के मामले में भारत ने एक बड़ी सफलता हासिल की है। भारत ने दरअसल एक अत्याधुनिक विस्फोटक SEBEX 2 विकसित किया है। भारतीय नौसेना ने भी इस विस्फोटक को सर्टिफाई कर दिया है। दुनिया के मौजूदा विस्फोटकों से कहीं ज्यादा ताकतवर इस SEBEX 2 बम में टीएनटी (ट्रिनिट्रोटोलुइन) करीब 2.01 है। यह खासियत इसे विश्व स्तर पर सबसे शक्तिशाली गैर-परमाणु विस्फोटकों की श्रेणी में शामिल करती है।

वर्तमान में मौजूद पारंपरिक विस्फोटकों की टीएनटी की क्षमता 1.25-1.30 है। यहां तक कि ब्रह्मोस वॉरहेड में भी जो विस्फोटक इस्तेमाल किए जाते हैं उनकी टीएनटी क्षमता 1.50 है। ऐसे में नया SEBEX 2 विस्फोटक कई ज्यादा घातक होगा और इसे तमाम वॉरहेड में इस्तेमाल किया जा सकेगा।

SEBEX 2 नागपुर स्थित सोलर इंडस्ट्रीज द्वारा विकसित किया गया। इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट अनुसार SEBEX 2 के नए फॉर्मूलेशन का परीक्षण नौसेना की रक्षा निर्यात संवर्धन योजना के तहत किया गया था। इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव्स लिमिटेड (ईईएल) में कुल तीन नए विस्फोटक फॉर्मूलेशन विकसित किए गए हैं। ईईएल सोलर इंडस्ट्रीज की सहायक कंपनी है।

SEBEX 2 कैसे बढ़ाएगा भारत की सैन्य ताकत?

SEBEX 2 एक उच्च तापमान पर पिघलने वाले विस्फोटक (HMX) कॉम्पोजिशन का इस्तेमाल करता है। यह फॉर्मूलेशन वॉरहेड, हवाई बम, तोप के गोले और अन्य युद्ध सामग्री की घातकता को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ा देते हैं। SEBEX 2 का मूल्यांकन, परीक्षण और प्रमाणीकरण नौसेना द्वारा अपनी रक्षा निर्यात संवर्धन योजना के तहत किया गया है। अधिकारियों ने बताया, 'इस विस्फोटक की वजह से अब उपयोग में आने वाले हथियारों और गोला-बारूद की क्षमता और दक्षता में वृद्धि होगी।' अधिकारियों के अनुसार फाइनल सर्टिफिकेशन पिछले सप्ताह पूरा हो गया था।

SEBEX 2: कठोर परीक्षण, नए प्रयोग भी जारी

रिपोर्ट के अनुसार SEBEX 2 को भारतीय नौसेना की डिफेंस एक्सपोर्ट प्रोमोशन स्कीम के तहत कठोर परीक्षण और सर्टिफिकेशन प्रक्रिया से गुजरना पड़ा। बताया जा रहा है कि इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव्स लिमिटेड (ईईएल) अब 2.3 के टीएनटी की क्षमता के साथ इस विस्फोटक के एक और संस्करण को विकसित करने के भी प्रयास में है। इसके छह महीने के भीतर पूरा करने की योजना है। ईईएल एक अन्य संस्करण पर भी काम कर रहा है जिसकी विस्फोटक शक्ति टीएनटी से 2.3 गुना होगी। ईईएल को भरोसा है यह भी छह महीने के भीतर तैयार हो जाएगा।

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SEBEX 2 के अलावा भारतीय नौसेना ने SITBEX-1 को भी सर्टिफायड किया है। यह एक थर्मोबेरिक विस्फोटक है जिसकी विस्फोट अवधि ज्यादा है और ये देर तक तेज गर्मी पैदा कर सकता है। इस लिहाज से ये दुश्मन के बंकरों, सुरंगों और ठिकानों को ध्वस्त करने में अत्यधिक प्रभावी माना जा रहा है।

सैन्य क्षेत्र में निर्यात की ओर बड़ा कदम

इन हथियारों का विकास न केवल देश की रक्षा क्षमताओं को मजबूत कर रहा हैं, बल्कि भारत को उन्नत विस्फोटक प्रौद्योगिकियों के संभावित निर्यातक के रूप में भी स्थापित कर रहा हैं। अधिकारियों ने कहा, 'ये नए फॉर्मूलेशन हमारे सशस्त्र बलों के लिए गेम-चेंजर हो सकते हैं।'

जानकार मानते हैं कि खासकर SEBEX 2 भारत के सैन्य प्रौद्योगिकी परिदृश्य में एक महत्वपूर्ण प्रगति है। इससे देश की रक्षा क्षमताओं में वृद्धि होगी। साथ ही ये वैश्विक सुरक्षा में भारत के रणनीतिक सहयोग की भी भूमिका को महत्वपूर्ण करेगा।