सुकमा में मारे गए 17 नक्सलियों में 11 महिलाएं, 12 साल पहले झीरम घाटी कांड में शामिल कमांडर भी मारा गया

यह मुठभेड़ सुरक्षाबलों के लिए बड़ी सफलता मानी जा रही है, क्योंकि बुधरा जैसे बड़े नक्सली नेता का मारा जाना सुरक्षाबलों की नक्सलवाद के खिलाफ चल रही लड़ाई में एक अहम कदम है।

 छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ Photograph: (IANS)

सुकमा: छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच जारी मुठभेड़ में एक बड़ी सफलता हासिल हुई है। सुरक्षाबलों ने नक्सलियों के प्रमुख लीडर जगदीश उर्फ बुधरा को मार गिराया, इसके बाद मारे गए नक्सलियों की संख्या 17 तक पहुंच गई है। 

जगदीश उर्फ़ बुधरा दरभा डिवीज़न का इंचार्ज था और उसके ऊपर 25 लाख रुपये का इनाम था। वह सुकमा जिले के ग्राम पिट्टेडब्बा, थाना कूकानार, और ग्राम पाउरगुडेम, थाना पामेड़ का निवासी था। लगभग 40 साल की उम्र में बुधरा नक्सली संगठन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा था। वह झीरम हत्याकांड में भी शामिल था, जो एक बड़ा राजनीतिक हिंसा का मामला था। इसके अलावा, वह 2023 में सुकमा जिले के अरणपुर में हुई उस घटना का भी हिस्सा था, जिसमें डीआरजी (डिस्ट्रीक्ट रिजर्व गार्ड) के जवान शहीद हो गए थे।

सुरक्षाबलों के लिए बड़ी सफलता

यह मुठभेड़ सुरक्षाबलों के लिए बड़ी सफलता मानी जा रही है, क्योंकि बुधरा जैसे बड़े नक्सली नेता का मारा जाना सुरक्षाबलों की नक्सलवाद के खिलाफ चल रही लड़ाई में एक अहम कदम है।

बता दें कि डीआरजी और सीआरपीएफ की संयुक्त टीम ने 28 मार्च को नक्सलियों की उपस्थिति के बारे में जानकारी मिलने के बाद ऑपरेशन शुरू किया था। यह कार्रवाई उप्पमपल्ली ग्राम के पास हुई, जहां नक्सली राशन लेने के लिए पहुंचे थे। सुरक्षाबलों ने इसके एक दिन पहले से इलाके में तलाशी और फायरिंग शुरू कर दी थी, इसके बाद यह बड़ी मुठभेड़ हुई।

नक्सलियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई

सुकमा के अधिकारियों का कहना है कि ऑपरेशन को तेज क‍िया जा रहा है और नक्सलियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है। पुलिस और सुरक्षा बल अब मुठभेड़ स्थल के आसपास के क्षेत्रों में सर्च ऑपरेशन कर रहे हैं, ताकि अन्य नक्सलियों को पकड़ा जा सके। मुठभेड़ के बाद इलाके में सुरक्षा व्यवस्था को और कड़ा किया गया है और आसपास के क्षेत्रों में सावधानी बढ़ा दी गई है।

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