हरियाणा निकाय चुनाव में बीजेपी ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 10 नगर निगम में से 9 पर जीत दर्ज कर ली है, जिसमें कांग्रेस नेता भूपेंद्र हुड्डा का गढ़ रोहतक भी शामिल है। जबकि मानेसर में निर्दलीय महिला उम्मीदवार को जीत मिली है। विधानसभा चुनाव में हार का सामना करने के बाद कांग्रेस निकाय चुनाव में पहली बार चुनाव लड़ी थी, लेकिन यहां भी उसे करारी हार का सामना करना पड़ा।

महापौर पदों के परिणाम के अनुसार, भाजपा उम्मीदवारों ने अंबाला, फरीदाबाद, गुरुग्राम, हिसार, करनाल, रोहतक और सोनीपत में अपने निकटतम कांग्रेस प्रतिद्वंद्वियों को हराकर जीत दर्ज की है। जबकि यमुनानगर और पानीपत में बीजेपी के उम्मीदवार आगे चल रहे हैं।

मानेसर में निर्दलीय उम्मीदवार इंद्रजीत यादव जीते 

वहीं, मानेसर में निर्दलीय उम्मीदवार इंद्रजीत यादव ने जीत हासिल की है। उन्होंने अपने निकटतम बीजेपी प्रतिद्वंद्वी सुंदर लाल को 2,293 वोटों के अंतर से हरा दिया। इससे पहले बीजेपी का 10 नगर निगमों में से आठ पर कब्जा था। बड़े अंतर से जीत दर्ज करने वाले महापौर उम्मीदवारों में फरीदाबाद से भाजपा उम्मीदवार परवीन जोशी शामिल हैं, जिन्होंने 3 लाख से अधिक मतों से जीत हासिल की है। गुरुग्राम से राज रानी ने 1.79 लाख वोटों के ज्यादा अंतर से जीत हासिल की है।

सोनीपत में भाजपा के वरिष्ठ नेता राजीव जैन ने कांग्रेस की कोमल दीवान को हराया, जबकि करनाल में भाजपा की रेणु बाला गुप्ता ने कांग्रेस के मनोज वाधवा को हराया। हालांकि, कांग्रेस के लिए सबसे बड़ी शर्मिंदगी पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के गढ़ रोहतक में देखने को मिली। रोहतक सीट पर भाजपा के राम अवतार ने कांग्रेस के सूरजमल किलोई को हरा दिया है। 2024 के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस ने रोहतक और झज्जर जिलों पर अपनी पकड़ बनाए रखी और पार्टी ने आठ में से सात सीटें जीती थी।

निकाय चुनाव को नतीजों पर बोले भूपेंद्र हुड्डा

वहीं, निकाय चुनाव को नतीजों पर बोलते हुए भूपेंद्र हुड्डा ने कहा, नगर निकाय चुनाव के नतीजों का कांग्रेस पर ज्यादा असर नहीं पड़ेगा। हुड्डा ने कहा, 'इससे पहले भी नगर निगमों में भाजपा का दबदबा रहा है। अगर हम सीट हार जाते तो ये झटका होता, लेकिन यह पहले से ही हमारे पास नहीं था। कांग्रेस को कुछ क्षेत्रों में बढ़त जरूर मिली होगी, लेकिन मैं चुनाव के दौरान कहीं नहीं गया। मुझे नहीं लगता कि इन नतीजों का कोई असर होगा।'