अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में छात्रों को नहीं मिली होली मिलन की इजाजत, भड़के स्टूडेंट पीएम को लिखेंगे पत्र

अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में होली मिलन समारोह मनाने की अनुमति नहीं मिलने पर हिंदू छात्रों में आक्रोश फैल गया है। छात्रों ने इस मामले को पीएम मोदी के संज्ञान में लाने की बात कही है।

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AMU Photograph: (Social Media)

अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में हिंदू छात्रों को होली मिलन समारोह के आयोजन को लेकर विवाद गहराया है। दरअसल, अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले हिंदू छात्रों को होली मिलन समारोह के आयोजन की अनुमति नहीं देने पर मंगलवार को हिंदू छात्रों मे आक्रोश पनप गया।छात्रों ने कहा देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संबोधन में एएमयू को मिनी इंडिया बताया था। बावजूद इसके एएमयू प्रशासन हिंदू छात्रों के साथ भेदभाव की नीति अपना रहा है। ऐसे मे हिंदू छात्रों को किसी मजहब के धार्मिक आयोजनों से कोई आपत्ति नहीं है। एएमयू परिसर के हाल में रोजा इफ्तार पार्टी करने के साथ चेहल्लुम का आयोजन करने के अलावा ताजिए निकाले जाते हैं। वही हिंदू छात्रों ने होली मिलन समारोह की अनुमति नहीं मिलने पर पूरा मामला हिंदू छात्रों द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संज्ञान में लाने की चेतावनी दी है।

इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, हिंदू छात्रों की तरफ से मास्टर डिग्री की पढ़ाई कर रहे अखिल कौशल ने 25 फरवरी को होली मिलन कार्यक्रम की अनुमति मांगी थी। उन्होंने कुलपति को संबोधित करते हुए यूनिवर्सिटी के प्रॉक्टर वसीम अली को पत्र सौंपा था। इसमें कहा गया था कि 9 मार्च को यूनिवर्सिटी एनआरएससी क्लब में होली मिलन समारोह आयोजित करने की अनुमति दी जाए। इंडिया टुडे से बातचीत करते हुए कौशल ने कहा कि प्रॉक्टर ने बाद में छात्रों को बताया कि प्रशासन ने कैंपस के अंदर होली कार्यक्रम आयोजित करने की अनुमति नहीं देने का फैसला किया है।

सोशल मीडिया पर ऑडियो-वीडियो वायरल करने की धमकी

कौशल का कहना है कि बैठक में चर्चा का ऑडियो और वीडियो हमारे पास हैं। अगर हमारी बात नहीं मानी जाती है तो हम इन्हें सोशल मीडिया पर वायरल कर देंगें। एमएयू में दूसरे धर्मों के कार्यक्रम होने पर हिंदू छात्रों को कोई समस्या नहीं होती है। ऐसे में हिंदू छात्रों तो होली मिलन कार्यक्रम करवाने से क्यों रोका जा रहा है?

कुलपति सभी धर्मों का करें सम्मान

छात्रों की लेटर लिखने वाले कौशल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने एक संबोधन में एएमयू को मिनी इंडिया कहा था। भारत को सभी धर्मों का सम्मान करने के लिए जाना जाता है। इसलिए एएमयू की कुलपति प्रोफेसर नईमा खातून को भी सभी धर्मों का सम्मान करना चाहिए और उनके कार्यक्रम की अनुमति देनी चाहिए। ऐसे में हम हमारी बात ने माने जाने पर पीएम मोदी के सामने अपनी बात रखेंगे।

प्रॉक्टर ने पूरे मामले पर क्या कहा?


प्रॉक्टर ने कहा कि यूनिवर्सिटी में में किसी विशेष कार्यक्रम के आयोजन की अनुमति नहीं है। छात्रो सालों से पहले भी होली मनाते हैं लेकिन परिसर में किसी खास जगह पर ऐसा करने की अनुमति पहले नहीं मांगी गई। वसीम अली ने कहा कि छात्र कैंपस में या फिर हॉस्टल के कमरों में होली मना सकते हैं। लेकिन किसी को भी किसी विशेष समारोह के लिए अनुमति नहीं दी जाएगी।

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