अजित पवार और सुप्रिया सुले। फोटोः IANS
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मुंबईः महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव के बीच बिटकॉइन घोटाले से जुड़े गंभीर आरोपों ने राज्य की राजनीति में उथल-पुथल मचा दी है। एनसीपी (शरद पवार गुट) की नेता सुप्रिया सुले और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले पर पूर्व आईपीएस अधिकारी रवींद्र नाथ पाटिल ने चुनाव प्रचार के लिए बिटकॉइन का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया है। इस मुद्दे पर भाजपा और महा विकास अघाड़ी (एमवीए) के बीच तीखे आरोप-प्रत्यारोप हो रहे हैं।
पूर्व आईपीएस अधिकारी के चौंकाने वाले आरोप
2004 बैच के आईपीएस अधिकारी रवींद्र नाथ पाटिल ने आरोप लगाया कि 2018 में बिटकॉइन घोटाले के दौरान जब्त किए गए हार्डवेयर वॉलेट को कथित तौर पर बदल दिया गया और इसका इस्तेमाल राजनीतिक फंडिंग के लिए किया गया। उनका दावा है कि पुणे के तत्कालीन पुलिस आयुक्त अमिताभ गुप्ता और साइबर क्राइम जांचकर्ता भाग्यश्री नवटके ने इस घोटाले में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और उन्हें सुले और पटोले का संरक्षण प्राप्त था।
पाटिल ने आगे कहा कि इन बिटकॉइन को दुबई में नकद में बदलने के लिए कई बार यात्रा की गई, और इस धन का उपयोग 2019 के लोकसभा चुनाव और मौजूदा विधानसभा चुनाव में हुआ। उन्होंने दावा किया कि उनके पास ऑडियो रिकॉर्डिंग और स्क्रीनशॉट सहित पर्याप्त सबूत हैं।
ऑडियो क्लिप विवाद और भाजपा का पलटवार
भाजपा ने मंगलवार मामले से जुड़े ऑडियो क्लिप जारी किए, जिसमें कथित तौर पर सुप्रिया सुले और गौरव मेहता के बीच बिटकॉइन के बदले नकदी लेन-देन की बातचीत सुनाई देती है। क्लिप में सुले को कहते सुना गया कि "जांच की चिंता मत करो, सत्ता में आने के बाद संभाल लेंगे।" वहीं, दूसरी रिकॉर्डिंग में नाना पटोले को नकदी लेन-देन में देरी पर नाराजगी जताते सुना गया।
भाजपा के राज्यसभा सांसद सुधांशु त्रिवेदी ने इन आरोपों को लेकर प्रेस वार्ता की और महा विकास अघाड़ी को कठघरे में खड़ा किया। उन्होंने कहा, "यह महा विकास अघाड़ी का असली चेहरा है, जो सत्ता हासिल करने के लिए हर अनुचित हथकंडा अपनाने को तैयार है। सुधांशु ने मामले में पाँच सवाल पूछे जिनका कांग्रेस और एमवीए से मांगा है।
अजित पवार ने कहा- ऑडियो में आवाज सुप्रिया सुले की
उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने बुधवार को बीजेपी द्वारा जारी ऑडियो क्लिप्स पर प्रतिक्रिया दी। पवार ने इन क्लिप्स में सुप्रिया सुले की आवाज को सही ठहराया और कहा कि वह इसे उनकी टोन से पहचान सकते हैं।
अजित पवार ने बारामती निर्वाचन क्षेत्र से वोट डालने के बाद पत्रकारों से कहा, "जो भी ऑडियो क्लिप दिखाई जा रही है, मैं बस इतना जानता हूं कि मैंने दोनों के साथ काम किया है। एक मेरी बहन हैं और दूसरे वे हैं, जिनके साथ मैंने काफी काम किया है। क्लिप में उनकी आवाज है, जिसे मैं उनकी टोन से पहचान सकता हूं। जांच होगी और सब कुछ साफ हो जाएगा।"
सुप्रिया सुले और नाना पटोले का बचाव
मीडिया ने जब अजित पवार के दावे को लेकर सुप्रिया से सवाल किया तो उन्होंने कहा कि "वह अजित पवार हैं, वह कुछ भी कह सकते हैं।"
इससे पहले मंगलवार को भाजपा के ऑडियो जारी करने के बाद सुप्रिया ने आरोपों को "राजनीतिक षड्यंत्र" करार देते हुए कहा कि यह मतदाताओं को गुमराह करने के लिए फैलाया गया झूठ है। उन्होंने साइबर क्राइम विभाग और चुनाव आयोग में शिकायत दर्ज कराई है। सोशल मीडिया पर उन्होंने लिखा, "मतदान से कुछ घंटे पहले इस तरह की झूठी खबरें फैलाना निंदनीय है। हम कानून के जरिए इसका जवाब देंगे।" नाना पटोले ने भी इन आरोपों को निराधार बताया और कहा कि यह भाजपा की चुनावी रणनीति का हिस्सा है।
रवींद्र नाथ पाटिल ने आरोपों में क्या कहा?
रवींद्र नाथ पाटिल ने समाचार एजेंसी आईएएनएस को बताया कि साल 2018 के बिटकॉइन क्रिप्टो करेंसी घोटाले में फॉरेंसिक ऑडिट के लिए मेरी कंपनी केपीएमजी को नियुक्त किया गया था, और मैंने इसे लीड किया था। हालांकि, 2022 में मुझे उसी केस में गिरफ्तार कर लिया गया, और मैंने 14 महीने जेल में बिताए। इस दौरान, मैं यह जानने की कोशिश कर रहा था कि क्यों मुझे फंसाया गया।
हाल ही में, मैंने और मेरे सहयोगियों ने कुछ चौंकाने वाले तथ्यों का खुलासा किया। एक प्रमुख गवाह, गौरव मेहता, जो एक ऑडिट फर्म के कर्मचारी हैं, ने मुझसे संपर्क किया और बताया कि 2018 के क्रिप्टो धोखाधड़ी मामले में बिटकॉइन से भरा एक वॉलेट जब्त किया गया था। मेहता ने आरोप लगाया कि उस वॉलेट को पुणे के तत्कालीन पुलिस आयुक्त अमिताभ गुप्ता के निर्देश पर बदल दिया गया था। मेहता के मुताबिक, मुझे और मेरे सहयोगियों को गलत तरीके से फंसाया गया, जबकि असली अपराधी गुप्ता और उनकी टीम थी।
मेहता ने यह भी आरोप लगाया कि बिटकॉइन से प्राप्त नकदी का इस्तेमाल चुनावी फंडिंग के लिए किया गया था। उन्होंने कहा कि 2019 के लोकसभा चुनावों और महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों के दौरान यह धन इस्तेमाल किया गया। इसके अलावा, कुछ ऑडियो रिकॉर्डिंग्स में सुप्रिया सुले और नाना पटोले का नाम लिया गया है, जिनमें वे नकदी के लेन-देन से संबंधित बातें कर रहे थे।
पाटिल ने दावा किया कि उन्होंने और उनके सहयोगियों ने इस घोटाले की पूरी जानकारी जुटाने के लिए सभी आवश्यक स्क्रीनशॉट्स और रिकॉर्डिंग्स एकत्र की हैं और वे जांच एजेंसियों के साथ सहयोग करने के लिए तैयार हैं।