नई दिल्लीः राजधानी की ब्रह्मपुत्र इमारत में आग लगने के बाद से राजनीतिक विवाद तेज हो गया है। इस दौरान विभिन्न दलों के विपक्षी नेताओं ने भाजपा सरकार के शासन और जवाबदेही की आलोचना की है।
दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल समेत अन्य विपक्षी नेताओं ने सीएम रेखा गुप्ता प्रशासन पर “आपराधिक लापरवाही” और ऊंची इमारतों में अग्नि सुरक्षा के बारे में बार-बार दी गई चेतावनियों की अनदेखी का आरोप लगाते हुए कड़ी आलोचना की।
टीएमसी सांसद ने क्या कहा?
इमारत में रहने वाले टीएमसी सांसद साकेत गोखले ने इस घटना को एक भयावह अनुभव बताया जिसने दिल्ली में तैयारियों की दयनीय स्थिति को उजागर किया।
उनकी पोस्ट में लिखा “हमने भाजपा सरकार के तहत दिल्ली की दयनीय स्थिति को अपनी आँखों से देखा। पाँच मिनट की दूरी पर तीन दमकल केंद्र हैं। जब इमारत के कर्मचारियों ने फोन किया तो उनमें से किसी ने भी जवाब नहीं दिया। फिर मैंने खुद दोपहर 1:22 बजे दमकल विभाग को फोन किया। और पहली दमकल गाड़ी पच्चीस मिनट बाद पहुँची।”
इसमें आगे कहा गया “इमारत के अग्निशमन सिस्टम में पानी नहीं था। फायर अलार्म बंद हो गया है। आखिरकार लोगों को धधकती आग के बीच से निकाला गया। एक घंटे बाद एंबुलेंस पहुंची। लेकिन किसी भी एंबुलेंस में प्राथमिक उपचार किट तक नहीं थी। सांसदों के साथ-साथ इमारत में कर्मचारियों के भी आवास हैं। लगभग आठ कर्मचारियों के घर पूरी तरह जलकर राख हो गए। उनमें रहने वाले कर्मचारियों का सबकुछ नष्ट हो गया।”
पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने भी दिल्ली की भाजपा सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने राजधानी को अराजकता की ओर धकेलने और पिछले प्रशासन द्वारा किए गए कार्यों को छह महीनों में खत्म करने का आरोप लगाया।
गोखले की पोस्ट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए केजरीवाल ने एक्स पर लिखा कि छह महीने में सब कुछ बर्बाद कर दिया। इससे पहले केजरीवाल ने दावा किया था कि शहर जिसमें विश्व स्तरीय स्कूल, अस्पताल, स्वच्छ पानी और फ्री बिजली थी। अभी टूटी सड़कें, कुड़े के ढेर और उफनाते नाले हैं।
उन्होंने आगे दावा किया कि निवासी हजारों रुपये के बिजली और पानी बिल झेल रहे हैं। जबकि कई इलाकों में पानी की आपूर्ति भी ठप हो गई है।
केजरीवाल ने कहा कि आप की राजनीति सेवा केंद्रित थी न कि सत्ता केंद्रित। उन्होंने कहा कि लोगों ने भाजपा को वोट यह सोचकर दिया था कि उपराज्यपाल, केंद्र सरकार और दिल्ली सरकार की एक पार्टी के तहत शासन में सुधार होगा। लेकिन उन्होंने (भाजपा) ने छह महीने में दिल्ली को बर्बाद कर दिया।
18 अक्टूबर को ब्रह्मपुत्र इमारत में लगी आग
बीते शनिवार (18 अक्टूबर) दोपहर को ब्रह्मपुत्र इमारत में सांसदों के फ्लैट वाले ब्लॉक में स्टाफ क्वार्टर में आग लग गई। यह घटना दोपहर करीब 1 बजकर 15 मिनट पर हुई। आस-पास के इलाके में बच्चों द्वारा कथित तौर पर पटाखे जलाने से आग लगी थी। ऐसी जगह पर यह घटना हुई जहां फर्नीचर का बेकार सामान रखा था जिसे फेंका जाना था।
दोपहर एक बजकर 45 मिनट पर आग पूरी तरह से बंद हो गई थी। सीपीडब्ल्यूडी अधिकारियों और दिल्ली अग्निशमन सेवा के कर्मियों की समन्वित प्रतिक्रिया से स्थिति पर शीघ्र ही नियंत्रण पा लिया गया।
घटना में किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है। इमारत में स्थापित सभी अग्निशमन प्रणालियाँ चालू थीं और दमकल गाड़ियों के पहुँचने से पहले आग पर काबू पाने के लिए उनका प्रभावी ढंग से उपयोग किया गया।