ढाका: बांग्लादेश में बढ़ते तनाव के बीच पूर्व पीएम शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग ने अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस और 61 अन्य के खिलाफ नीदरलैंड स्थित इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट (आईसीसी) में शिकायत दर्ज की है।
यह शिकायत अवामी लीग के प्रमुख नेता और सिलहट के पूर्व मेयर अनवारुज्जमां चौधरी द्वारा रोम संविधि के अनुच्छेद 15 के तहत दर्ज कराई गई है। इस सिलसिले में बांग्लादेश की निर्वासित लेखिका तस्लीमा नसरीन ने सोशल मीडिया एक्स पर एक पोस्ट भी किया है और इसकी जानकारी दी है।
शिकायत में मोहम्मद यूनुस के अलावा उनके मंत्रिमंडल के सदस्यों और विरोध कर रहे छात्रों पर नरसंहार और मानवता के खिलाफ अपराध करने का आरोप लगाया गया है। हालांकि इस शिकायत पर मोहम्मद यूनुस या बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के तरह से अभी तक कोई भी प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है।
बता दें कि बांग्लादेश में कोटा विरोधी आंदोलन के कारण पीएम शेख हसीना को पद से इस्तीफा देकर पांच अगस्त को देश छोड़कर भारत आना पड़ा था। भारत आने के बाद दावा है कि शेख हसीना ने कई देशों में शरण लेने के लिए आवेदन किया था लेकिन किसी भी देश में उन्हें शरण नहीं मिलने के कारण वे अभी भी भारत में हैं।
उधर बांग्लादेश में नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व में एक अंतरिम सरकार बनी है जो सेना के साथ मिलकर अभी सत्ता संभाल रही है और देश में जल्द ही चुनाव कराने की योजना बना रही है।
बांग्लादेश के अंतरिम सरकार के सत्ता संभालने के बाद वहां रहे अल्पसंख्यकों पर आत्याचारों की खबरे सामने आ रही है जिसे मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली सरकार ने नकारा है। यही नहीं इस दौरान अल्पसंख्यकों के धार्मिक स्थलों को भी नुकसान पहुंचाने की खबरे सामने आई है।
शिकायत में क्या आरोप लगाया गया है
पार्टी द्वारा आईसीसी में शिकायत करने की जानकारी अवामी लीग के आधिकारिक फेसबुक पेज पर साझा किए गए एक वीडियो संदेश में किया गया है।
शिकायत में अनवारुज्जमां चौधरी ने आरोप लगाया गया है कि पांच अगस्त को शेख हसीना के इस्तीफे के बाद “छात्र आंदोलन” की आड़ में देश में बड़े पैमाने पर “नरसंहार” हुआ है। दावा है कि इस “नरसंहार” में अवामी लीग के सदस्य, हिंदू, ईसाई और बौद्ध जैसे धार्मिक अल्पसंख्यकों और बांग्लादेश पुलिस के सदस्यों के साथ हिंसा की गई है।
A complaint has been filed in the International Court of Justice against 62 individuals, including Muhammad Yunus, the Chief Adviser of Bangladesh’s interim government. The complaint was filed on Friday, November 8, at the International Court of Justice in The Hague,…
— taslima nasreen (@taslimanasreen) November 9, 2024
चौधरी ने दावा किया कि पांच से आठ अगस्त के बीच इन समूहों को “नरसंहार” समेत गंभीर मानवाधिकार उल्लंघन का सामना करना पड़ा था। शिकायत में सबूत के रूप में लगभग 800 पन्नों के दस्तावेज को भी पेश किया गया है।
वीडियो मैसेज में चौधरी ने यह भी दावा किया है कि इस सिलसिले में आईसीसी में 15 हजार और भी शिकायतें दर्ज कराने की तैयारी चल रही है। मामले में कोटा विरोधी आंदोलन में प्रभावित लोगों द्वारा एक-एक करके में आईसीसी में शिकायत की जाएगी।
वीडियो संदेश में अनवारुज्जमां चौधरी ने कहा है, “5 से 8 अगस्त के बीच बांग्लादेश में छात्र आंदोलन के नाम पर क्रूर नरसंहार हुआ है। इस संबंध में हमने आईसीसी को सभी तथ्य और सबूत सौंप दिए हैं।”
अवामी लीग की रैली को नहीं मिली इजाजत
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, 10 नवंबर यानी रविवार को अवामी लीग द्वारा एक प्रस्तावित रैली का आयोजन होने वाला था। लेकिन बांग्लादेश के अतंरिम सरकार ने रैली की इजाजत देने से इंकार कर दिया है।
मामले में बोलते हुए मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस के प्रेस सचिव शफीकुल आलम ने एक फेसबुक पोस्ट में चेतावनी दी है कि देश में किसी भी तरह की हिंसा या कानून व्यवस्था के भंग होने पर संबंधित लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
आलम को यह कहते हुए सुना गया है कि, ‘‘जो भी व्यक्ति सामूहिक हत्यारे और तानाशाह शेख हसीना से आदेश लेकर रैली, सभा और जुलूस आयोजित करने की कोशिश करेगा, उसे कानून लागू करने वाली एजेंसियों की पूरी सख्ती का सामना करना पड़ेगा।’’