मुंबई: एनसीपी नेता बाबा सिद्दीकी हत्या में शामिल मुख्य शूटर शिवकुमार गौतम ने क्राइम ब्रांच की पूछताछ में बड़े खुलासे किए हैं। गौतम ने बताया है कि फायरिंग के कुछ मिनट बाद वो लीलावती अस्पताल पहुंचा था, ताकि बाबा सिद्दीकी की मौत के बारे में अपडेट हासिल सके। वह यह जानना चाह रहा था कि बाबा सिद्दीकी जिंदा हैं या नहीं?
इस हत्याकांड मामले में पुलिस अभी तक 20 से ज्यादा आरोपियों को गिरफ्तारी कर चुकी है। घटना को अंजाम तीन शूटर्स ने दिया था। हालांकि, आरोप है कि शिवकुमार ही वो शख्स है जिसने सिद्दीकी को गोली मारी।
बहरहाल, रविवार (10 नवंबर) को गिरफ्तार शिवकुमार ने बताया कि वो अस्पताल में कुछ देर रूका था और जब उसे पता चला कि बाबा सिद्दीकी की हालत बहुत नाजुक है और बचने की संभावना नहीं है, इसके बाद वो वहां से चला गया। आरोपी शूटर अस्पताल से रिक्शा लेकर कुर्ला स्टेशन पहुंचा और इसके बाद उसने एक लोकल ट्रेन पकड़ी। ट्रेन में सफर करने के दौरान ही उनसे फोन पर बाबा सिद्दीकी की मौत के बारे में न्यूज देखी।
गौतम ने कहा कि उसने 12 अक्टूब को सिद्दीकी को रात 9:11 बजे गोली मारी। गोलीबारी के बाद, उसने घटनास्थल से थोड़ी दूरी जाकर अपनी शर्ट बदल ली, इस्तेमाल की गई शर्ट और पिस्तौल को एक बैग में रख दिया और एक अलग वाहन के नीचे फेंक दिया।
उसने यह भी खुलासा किया कि अपनी शर्ट बदलने के बाद, वह घटना स्थल पर पहुंचा और लगभग 20 मिनट तक वहां हो रहे हंगामे को देखा। इसके बाद वह ऑटो से लीलावती अस्पताल गया और वहां करीब 30 मिनट तक वहां रूका रहा।
वैष्णो देवी जाने की थी योजना
गौतम ने यह भी खुलासा किया कि हत्या के बाद लॉरेंस बिश्नोई गिरोह के सदस्यों ने उसे साथी धर्मराज कश्यप और गुरमेल सिंह के साथ उज्जैन रेलवे स्टेशन पर मिलने का निर्देश दिया था। यहां गिरोह का एक सदस्य उन्हें वैष्णो देवी तक ले जाने वाला था। हालांकि, यह योजना तब विफल हो गई जब घटना के तुरंत बाद दो शूटरों को पकड़ लिया गया।
गौतम ने स्वीकार किया कि इसके बाद वह पुणे से उत्तर की ओर जाने वाली ट्रेन में चढ़ गया। ट्रेन मनमाड, उज्जैन और झांसी से गुजरते हुए आखिरकार लखनऊ पहुंची। लखनऊ से गौतम ने सरकारी बस से बहराईच तक यात्रा की, जिसके बाद उसके आगे भागने का रास्ता तय हुआ।
बाबा सिद्दीकी कौन थे?
मूल रूप से बिहार से आने वाले बाबा सिद्दीकी महाराष्ट्र की राजनीति में एक जाने-माने चेहरा थे। 80 के दशक में छात्र नेता से अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत करने वाले सिद्दीकी मुंबई के बांद्रा पश्चिम विधानसभा क्षेत्र से तीन बार विधायक रहे। 2004 से 2008 के बीच वे विलासराव देशमुख के नेतृत्व वाली सरकार में मंत्री भी रहे। हालांकि, कांग्रेस में लंबे समय तक रहने के बाद उन्होंने अजित पवार के नेतृत्व वाले राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) गुट का दामन थाम लिया था।
बाबा सिद्दीकी के बेटे जीशान सिद्दीकी भी हाल में कांग्रेस छोड़ एनसीपी में शामिल हो गए हैं और बांद्रा पूर्व विधानसभा सीट से चुनाव भी इस बार लड़ रहे हैं। वह कांग्रेस से टिकट नहीं मिलने की वजह से नाराज होकर एनसीपी से जुड़े हैं। इससे पहले वह 2019 से इसी सीट से कांग्रेस से विधायक भी हैं।
बहरहाल, बाबा सिद्दीकी की बात करें तो राजनीति के अलावा वे बॉलीवुड सितारों के भी काफी करीब बताए जाते थे। खासतौर पर उनकी दोस्ती सलमान खान से काफी गहरी रही थी। बाबा सिद्दीकी हर साल ईद पर इफ्तार पार्टी का आयोजन करते थे और यह भी खूब चर्चित रहती थी। इसमें टीवी, राजनीति, खेल, फिल्मों से जुड़े कलाकार शिरकत करते थे।
बाबा सिद्दीकी हत्याकांड का अब तक का घटनाक्रम
12 अक्टूबर: रात करीब 9.15 बजे 66 वर्षीय बाबा सिद्दीकी की हत्या उस समय की गई जब वे अपने बेटे के ऑफिस से निकलकर कार की ओर बढ़ रहे थे। तीन शूटरों ने इस घटना को अंजाम दिया। सिद्दीकी के पेट और छाती में गोली लगी। इस दौरान वहां खड़ा एक अन्य शख्स भी घायल हुआ, जब एक गोली उसके पैर में लग गई। इस बीच आननफानन में सिद्दी को लीलावती अस्पताल ले जाया गया लेकिन उन्हें नहीं बचाया जा सका। उसी रात उनकी मौत हो गई।
13 अक्टूबर: बाबा सिद्दीकी को पूरे राजकीय सम्मान के साथ मुंबई के बड़ा कब्रिस्तान में सुपुर्दे-ए-खाक किया गया। इस तारीख को लॉरेंस बिश्नोई ग्रुप ने सिद्दीकी की हत्या की जिम्मेदारी एक सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए ली। इसी दिन मुंबई पुलिस ने चार आरोपियों की पहचान भी कर ली। इसमें शिवकुमार के अलावा धर्मराज, गुरमेल और जीशान अख्तर का नाम शामिल था। बहराइच के धर्मराज और हरियाणा के गुरमेल को इसी दिन पुलिस ने गिरफ्तार भी कर लिया था। जबकि शिवकुमार फरार था।
14 अक्टूबर: मुंबई पुलिस ने बताया कि बाबा सिद्दीकी हत्या करने वाले शूटरों के निशाने पर जीशान सिद्दीकी भी थे।
16 अक्टूबर: मुंबई पुलिस ने अदालत के समक्ष कहा कि उनका इरादा सलमान खान के घर गोलीबारी मामले में अनमोल बिश्नोई के प्रत्यर्पण की पहल करना है। अनमोल बिश्नोई दरअसल लॉरेंस बिश्नोई का भाई है और माना जा रहा है कि अमेरिका में है। यह भी आरोप है कि शिवकुमार को बाबा सिद्दीकी की हत्या के लिए उकसाने और ब्रेनवाश करने में अनमोल की बड़ी भूमिका थी।
23 अक्टूबर: मुंबई क्राइम ब्रांच ने खुलासा किया बाबा सिद्दीकी हत्याकांड में कथित तौर पर शामिल तीन संदिग्ध शूटर वारदात को अंजाम देने से पहले स्नैपचैट के जरिए अनमोल बिश्नोई के संपर्क में थे। पुलिस के मुताबिक अनमोल कनाडा और अमेरिका के आरोपियों के संपर्क में था। आरोपियों के पास से चार मोबाइल फोन जब्त किए गए थे।
25 अक्टूबर: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के भाई अनमोल बिश्नोई की गिरफ्तारी के लिए 10 लाख रुपये के इनाम की घोषणा की है।
25 अक्टूबर: बाबा सिद्दीकी हत्याकांड मामले में पुलिस ने पिछले 13 दिनों में 9 आरोपियों को गिरफ्तार किया था। 9 आरोपियों में गुरमेल बलजीत सिंह (23), धर्मराज कश्यप (21), हरीश कुमार निसाद (26) शामिल थे। इसके अलावा प्रवीण लोनकर (30), नितिन गौतम सप्रे (32), संभाजी किसन पारधी (44), प्रदीप दत्तू थोम्ब्रे (37), चेतन दिलीप पारधी और राम फूलचंद कनौजिया (43) के नाम भी शामिल हैं।
2 नवंबर: मुंबई पुलिस की अपराध शाखा ने अभिनेता सलमान खान के घर के बाहर फायरिंग मामले में अनमोल बिश्नोई को अमेरिका से वापस लाने के लिए प्रत्यर्पण प्रक्रिया शुरू कर दी। मकोका कोर्ट ने अनमोल बिश्नोई के खिलाफ गैर-जमानती वारंट भी जारी कर दिया। साथ ही विदेश में उसकी तलाश के लिए रेड कॉर्नर नोटिस भी जारी किया गया।
6 नवंबर: मुंबई क्राइम ब्रांच ने बाबा सिद्दीकी हत्याकांड के 16वें आरोपी को गिरफ्तार किया। क्राइम ब्रांच के अधिकारी ने बताया कि आरोपी को पुणे से गिरफ्तार किया गया है और उसकी पहचान गौरव अप्पुने के रूप में हुई है। आरोप है कि गौरव ने हत्या की योजना बनाने के लिए कई बार अन्य आरोपियों से मुलाकात की थी। गौरव उन शूटरों के पहले बैच के संपर्क में था जिन्हें पहले बाबा सिद्दीकी की हत्या का ठेका दिया गया था।
7 नवंबर: बाबा सिद्दीकी की हत्या के सिलसिले में मुंबई क्राइम ब्रांच ने पुणे से दो और संदिग्धों को गिरफ्तार किया। इसके साथ ही इस मामले में अब तक गिरफ्तार आरोपियों कुल संख्या 18 हो गई थी।
10 नवंबर: मुख्य आरोपी शिवकुमार गौतम उर्फ शिव को मुंबई क्राइम ब्रांच और यूपी एसटीएफ की टीम ने नेपाल बॉर्डर से लगे बहराइच से गिरफ्तार किया। मुंबई क्राइम ब्रांच की टीम ने इस मामले में आरोपी धर्मराज के भाई को भी गिरफ्तार किया। इसके अलावा शिवकुमार की मदद करने के लिए ज्ञान त्रिपाठी, अखिलेश, आकाश श्रीवास्तव और अनुराग नाम के शख्स को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया।
बताया जा रहा है कि बाबा सिद्दीकी की हत्या के बाद से आरोपी शिवकुमार बीते एक महीने से नेपाल में छिपा हुआ था, जिसकी तलाश मुंबई स्पेशल सेल एवं क्राइम ब्रांच की टीम कर रही थी।