नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने राजधानी के कई निजी स्कूलों में हाल के महीनों में बम की धमकी वाले ईमेल के केस में एक बड़ा खुलासा करने का दावा किया है। पुलिस ने कहा कि इस मामले में पकड़े गए प्राइवेट स्कूल के एक छात्र ने 400 से अधिक स्कूलों को धमकी वाले ईमेल भेजे थे।
स्पेशल सीपी लॉ एंड ऑर्डर मधुप तिवारी ने कहा, ‘किशोर का परिवार एक एनजीओ के साथ काम करता है और उस एनजीओ का एक विशेष राजनीतिक दल से संबंध रहा है।’ मधुप तिवारी ने कहा कि यह गैर-सरकारी संगठन अफजल गुरु को सही ठहराने की कोशिशों में शामिल था और उसकी सजा के खिलाफ आवाज उठाई थी।
’12वीं के छात्र ने भेजे थे 400 स्कूलों को धमकी भरे मेल’
दरअसल, पुलिस ने पिछले साल सैकड़ों स्कूलों को ईमेल के जरिए फर्जी धमकी के मामले में कथित संलिप्तता के लिए एक निजी स्कूल के 12वीं कक्षा के छात्र को पकड़ा था। पुलिस के अनुसार जांच के दौरान यह पाया गया कि हिरासत में लिए गए छात्र ने स्कूल की परीक्षाओं में बैठने से बचने के लिए स्कूलों को धमकी भरे ईमेल भेजे थे।
मधुप तिवारी ने मंगलवार को कहा कि पिछले साल फरवरी से कई स्कूलों को हजारों फर्जी ईमेल भेजे गए हैं। पुलिस ने ऐसे ईमेल भेजने वाले का पता लगाने के लिए हरसंभव प्रयास किया है। उन्होंने कहा, ‘ईमेल बहुत ही तरीके से भेजे गए थे, और वीपीएन का इस्तेमाल भी इस प्रक्रिया में किया गया था। इसलिए, हमें ईमेल का पता लगाने में दिक्कतें आईं।’
किस राजनीतिक दल से है रिश्ता?
पुलिस को 8 जनवरी को संदिग्ध किशोर के बारे में जानकारी मिली। उसकी गिरफ्तारी के बाद पता चला कि उसने 400 से अधिक स्कूलों को फर्जी धमकी भरे ईमेल भेजे थे। तिवारी ने कहा, ‘हमें राष्ट्र-विरोधी या सबोटाज के पहलू का संदेह था। जब हमने जांच के तहत किशोर के परिवार की प्रोफाइलिंग की, तो पाया कि उसके माता-पिता में से एक किसी एनजीओ से गहरे संबंध रखने वाले संगठन से जुड़े हैं। तिवारी ने आगे कहा, ‘हमारी प्रारंभिक जानकारी के अनुसार यह पाया गया कि एनजीओ का एक विशेष राजनीतिक दल से गहरा संबंध है।’
तिवारी ने यह भी कहा कि संदिग्ध पिछले साल 1 मई को 250 से अधिक स्कूलों को फर्जी ईमेल भेजने और अन्य घटनाओं में भी शामिल था। उन्होंने कहा, ‘यह प्रारंभिक जांच है। आगे की जांच अभी बाकी है।’
संदिग्ध ने पिछले सप्ताह गुरुवार को 23 स्कूलों को फर्जी ईमेल भेजे थे। पुलिस ने पाया कि यूजर ने जीमेल के माध्यम से ये मेल भेजे थे। इसके बाद पुलिस को संदिग्ध किशोर को ट्रैक करने में मदद मिली। छात्र ने बाद में कबूल किया कि ईमेल उसके और कुछ अन्य छात्रों द्वारा वीपीएन का उपयोग करके भेजे गए थे।
दिल्ली चुनाव से ठीक पहले पुलिस ने किया है बड़ा दावा
दिल्ली के स्कूलों में बम की धमकियों और शहर में कानून व्यवस्था को लेकर आम आदमी पार्टी लगातार दिल्ली पुलिस और गृह मंत्रालय पर हमलावर थी। दिल्ली में विधानसभा चुनाव से महज कुछ दिनों पहले फर्जी धमकी मेल केस में पुलिस के दावे और किसी राजनीतिक पार्टी से कनेक्शन की बातों से जाहिर तौर पर सियासत और गर्म होगी।
डीपीएस आरके पुरम और पश्चिम विहार के जीडी गोयनका स्कूल सहित दिल्ली के कम से कम 40 स्कूलों को पिछले साल 9 दिसंबर को बम की धमकी वाले ईमेल मिले थे। मेल भेजने वाले ने फिरौती के रूप में 30,000 डॉलर की मांग की थी। इसी तरह के ईमेल से 13 और 14 दिसंबर को 30 से अधिक स्कूलों में हड़कंप मच गया था।