इंफालः मणिपुर के मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह ने इंफाल पूर्वी जिले के सनसाबी और थमनापोकपी गांवों में कुकी उग्रवादियों द्वारा की गई अंधाधुंध गोलीबारी की कड़ी निंदा की है। इस हमले में नागरिकों और सुरक्षाकर्मियों के घायल होने की खबर है। बीरेन सिंह ने इसे निर्दोष लोगों पर कायरतापूर्ण और अकारण हमला करार देते हुए इसे शांति और सद्भाव पर हमला बताया।
स्थिति नियंत्रण के लिए उठाए गए कदम
मुख्यमंत्री ने कहा, “हमने प्रभावित क्षेत्रों में पर्याप्त सुरक्षाकर्मियों को तैनात कर दिया है। घायलों को जरूरी चिकित्सा सहायता दी जा रही है। सरकार ऐसी चुनौतियों का सामना करने के लिए शांति और एकता का आह्वान करती है।” उन्होंने केंद्रीय बलों और राज्य पुलिस के बीच बेहतर समन्वय और सहयोग की आवश्यकता पर भी बल दिया।
Manipur CM N Biren Singh tweets, “Strongly condemn the indiscriminate firing by Kuki militants at Sanasabi and Thamnapokpi in Imphal East, which injured civilians and security personnel. This cowardly and unprovoked attack on innocent lives is an assault on peace and harmony.… pic.twitter.com/oTCyrMnuiz
— ANI (@ANI) December 28, 2024
गोलीबारी में एक पुलिस अधिकारी और एक नागरिक घायल
शुक्रवार को सशस्त्र समूहों द्वारा पहाड़ियों से सनसाबी और थमनापोकपी गांवों पर बंदूक और बम से हमला किया गया। हमला सुबह करीब 10:45 बजे शुरू हुआ, जिसके जवाब में सुरक्षा बलों ने जवाबी कार्रवाई की। इस झड़प में एक पुलिस अधिकारी और एक गांव के स्वयंसेवक घायल हुए। सोशल मीडिया पर एक वीडियो भी सामने आया है जिसमें गोलीबारी की आवाज गूंज रही है।
#Manipur
Innocent #Meiteis were forced to flee #Thamnapokpi, Imphal East, after a brutal attack by #KukiTerrorists!Today, hundreds of innocent Meiteis were displaced from their homes. This is a part of #Pogrom against the peaceful Meitei Hindus.
And, they need our attention.… pic.twitter.com/9AGWRVpOQ8
— AI Day Trading (@ai_daytrading) December 28, 2024
पुलिस अधिकारी के हरिदास (37) को कंधे में गोली लगी और उन्हें जवाहरलाल नेहरू आयुर्विज्ञान संस्थान ले जाया गया। एक गांव के स्वयंसेवक को हाथ में मामूली चोटें आईं और उनका इलाज स्थानीय अस्पताल में किया गया।
हमलों के कारण गांवों में अफरा-तफरी मच गई। स्थानीय लोग सुरक्षित स्थानों की ओर भागने को मजबूर हुए। सुबह करीब 11:30 बजे थमनापोकपी गांव में एक और हमला हुआ, जिससे दहशत और बढ़ गई। सीआरपीएफ और अन्य सुरक्षाबलों ने कई महिलाओं, बच्चों और बुजुर्गों को सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाया। रिपोर्टों के अनुसार, पूर्वी इंफाल और कांगपोकली जिलों में पिछले चार दिन से कुकी और मैती समूहों के बीच गोलीबारी हो रही है।
पिछले साल से जारी है जातीय हिंसा
मणिपुर में मई 2023 से मैतेई और कुकी-जो समुदायों के बीच जातीय हिंसा में अब तक 250 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है और हजारों लोग विस्थापित हो चुके हैं। मुख्यमंत्री बीरेन सिंह ने इस ताजा घटना को राज्य में शांति बहाल करने की कोशिशों के खिलाफ साजिश करार दिया है और सभी समुदायों से सद्भाव और एकता बनाए रखने की अपील की है।
गौरतलब है कि मणिपुर उच्च न्यायालय के पूर्व मुख्य न्यायाधीश सिद्धार्थ मृदुल ने बीते मंगलवार को कहा, “जब भी मणिपुर में स्थिति बेहतर होती दिखती है, तो नई हिंसा भड़क जाती है। मुझे लगता है कि कुछ ताकतें बाहरी हैं, आंतरिक नहीं। अगर ये ताकतें बाहरी भी हैं तो स्थानीय स्तर पर उनके सहयोगी हैं, जो यह सुनिश्चित करते हैं कि मणिपुर को जलाने के एजेंडे को सख्ती से आगे बढ़ाया जाए।”